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द न्यूज़ इंडिया समाचार सेवा
रायपुर : छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय के नेतृत्व में आज नवा रायपुर के भारतीय प्रबंधन संस्थान (आईआईएम) में दो दिवसीय चिंतन शिविर 2.0 का शुभारंभ हुआ। सुशासन एवं अभिसरण विभाग और आईआईएम रायपुर के सहयोग से आयोजित इस शिविर में उपमुख्यमंत्री श्री अरुण साव, श्री विजय शर्मा, मंत्रिमंडल के सदस्य, सांसद, विधायक और प्रबुद्धजन शामिल हुए। इस मंच का उद्देश्य प्रशासनिक दक्षता बढ़ाना, अंतर-क्षेत्रीय समन्वय को सशक्त करना और जनकल्याण के लिए परिवर्तनकारी दृष्टिकोण विकसित करना है।
मुख्यमंत्री ने अपने संबोधन में कहा कि यह शिविर आत्मनिरीक्षण और ज्ञान के आदान-प्रदान का अनूठा अवसर है, जो छत्तीसगढ़ को सुशासन के नए आयामों तक ले जाएगा। उन्होंने पिछले चिंतन शिविर से प्राप्त सुझावों को लागू कर आम जनता के जीवन में सकारात्मक बदलाव लाने की बात कही। श्री साय ने बताया कि डेढ़ वर्षों में 350 से अधिक प्रशासनिक सुधार किए गए, जिनमें ई-ऑफिस प्रणाली ने फाइलों के मैनुअल ढेर को समाप्त कर जवाबदेही और पारदर्शिता सुनिश्चित की है। अब फाइलें ऑनलाइन मूव होती हैं, और हर कार्य की समय-सीमा निर्धारित है, जिससे भ्रष्टाचार की गुंजाइश खत्म हुई है।
छत्तीसगढ़ के रजत जयंती वर्ष को अटल निर्माण वर्ष के रूप में मनाते हुए मुख्यमंत्री ने पूर्व प्रधानमंत्री स्वर्गीय अटल बिहारी वाजपेयी को श्रद्धांजलि अर्पित की। उन्होंने कहा कि अटल जी के सुशासन के सिद्धांतों को धरातल पर उतारना इस वर्ष का मुख्य लक्ष्य है। डिजिटल गवर्नेंस को अपनाकर रजिस्ट्री प्रक्रिया को सरल बनाया गया है, जिसमें अब घर बैठे मिनटों में रजिस्ट्री और स्वतः नामांतरण हो रहा है। यह तकनीकी नवाचार भ्रष्टाचार को समाप्त करने की दिशा में क्रांतिकारी कदम है।
नई उद्योग नीति के तहत सिंगल विंडो सिस्टम 2.0 और ईज ऑफ डूइंग बिजनेस ने निवेश को प्रोत्साहन दिया है। खनिज संसाधनों से समृद्ध छत्तीसगढ़ में कोर सेक्टर की अपार संभावनाओं को देखते हुए विशेष अनुदान की व्यवस्था की गई है। पर्यटन को उद्योग का दर्जा देकर और होम स्टे उद्यमियों के लिए अनुदान शुरू कर प्राकृतिक सौंदर्य को आर्थिक अवसरों में बदला जा रहा है। इसके अलावा, एआई और क्लाइमेट चेंज से जुड़े उद्यमों को प्रोत्साहन, नवा रायपुर में देश का पहला एआई डाटा सेंटर पार्क और सेमीकंडक्टर यूनिट का शुभारंभ छत्तीसगढ़ को तकनीकी क्रांति का अग्रदूत बना रहा है।
शिविर में ‘प्रथम दिवस परिवर्तनकारी नेतृत्व और दूरदर्शी शासन’, ‘संस्कृति, सुशासन और राष्ट्र निर्माण’ और ‘सक्षमता से सततता तक: सार्वजनिक वित्त पर पुनर्विचार’ जैसे विषयों पर सत्र आयोजित किए गए। डॉ. विनय सहस्रबुद्धे, प्रो. हिमांशु राय, डॉ. रविंद्र ढोलकिया, श्री संजीव सान्याल, उदय माहुरकर और डॉ. राजेंद्र प्रताप गुप्ता जैसे प्रख्यात विशेषज्ञ अपने विचार साझा किए।
मुख्यमंत्री ने बस्तर के विकास पर विशेष जोर देते हुए कहा कि माओवाद पर प्रभावी कार्रवाई ने क्षेत्र में शांति और प्रगति की राह खोली है। बस्तर ओलंपिक, बस्तर पंडुम और बस्तर डायलॉग जैसे आयोजनों ने युवाओं को मुख्यधारा से जोड़ा है। हाल ही में बोधघाट परियोजना को मंजूरी मिलने से 7 लाख हेक्टेयर में सिंचाई और 125 मेगावाट बिजली उत्पादन संभव होगा, जिससे हजारों स्थानीय लोगों को रोजगार मिलेगा। नियद नेल्ला नार योजना से शासकीय योजनाओं का सेचुरेशन सुनिश्चित किया गया है।
सुशासन तिहार के तहत 41 लाख से अधिक आवेदनों में से 99 प्रतिशत का गुणवत्तापूर्ण निराकरण कर जनसमस्याओं का समाधान किया गया। समाधान शिविरों में जनता से सीधा संवाद और शासकीय योजनाओं का पात्र लोगों को लाभ मिला। मुख्यमंत्री, मंत्रिमंडल और जनप्रतिनिधियों ने गांव-गांव जाकर विकास कार्यों की स्थिति का जायजा लिया। श्री साय ने कहा कि छोटे कस्बों में स्कूल, अस्पताल और मल्टीप्लेक्स जैसी सुविधाओं के लिए अनुदान की व्यवस्था से पलायन रुकेगा और आर्थिक गतिविधियां बढ़ेंगी। महतारी वंदन योजना और कृषक उन्नति योजना ने बड़े तबके की आर्थिक ताकत बढ़ाई है। प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी के विकसित भारत के संकल्प को आत्मसात करते हुए विजन डाक्यूमेंट 2047 तैयार किया गया है, जिसमें छत्तीसगढ़ के सर्वांगीण विकास का रोडमैप है।
मुख्यमंत्री ने गर्व के साथ उल्लेख किया कि जम्मू-कश्मीर में चिनाब नदी पर बने विश्व के सबसे ऊंचे रेलवे ब्रिज में छत्तीसगढ़ का स्टील उपयोग हुआ है। उन्होंने सुशासन एवं अभिसरण विभाग और आईआईएम रायपुर को इस आयोजन के लिए बधाई दी और कहा कि चिंतन शिविर में प्राप्त सुझाव विकसित छत्तीसगढ़ की ठोस नींव रखेंगे। -
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प्रधानमंत्री और गृहमंत्री से मिले मुख्यमंत्री ने दिखाई छत्तीसगढ़ की नई तस्वीर
नई दिल्ली : छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री श्री विष्णुदेव साय ने शुक्रवार को नई दिल्ली में प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी से मुलाक़ात की। इस दौरान उन्होंने बस्तर में शांति व्यवस्था, विभिन्न योजनाओं एवं उपलब्धियों पर चर्चा की। इसके साथ ही हाल ही में छत्तीसगढ़ में आयोजित सुशासन तिहार की प्रधानमंत्री को जानकारी दी।
दिल्ली प्रवास के दौरान मुख्यमंत्री ने केंद्रीय गृह मंत्री श्री अमित शाह से भी उनके आवास पर मुलाकात की। जहां राज्य के विकास, नक्सल ऑपरेशन सहित अन्य प्रमुख मुद्दों पर चर्चा हुई।मुख्यमंत्री ने बताया कि अब बस्तर का चेहरा बदल रहा है, जो कभी बंदूक और बारूदी सुरंगों के लिए जाना जाता था, आज वहाँ मोबाइल टावर खड़े हो रहे हैं, जो सिर्फ संचार का माध्यम नहीं बल्कि विकास और विश्वास के प्रतीक बन चुके हैं।
मुख्यमंत्री श्री साय ने बताया कि सरकार द्वारा विगत डेढ़ वर्ष में 64 नए फॉरवर्ड सुरक्षा कैंपों की स्थापना की गई है। इन सुरक्षा चौकियों के आसपास गांवों में न केवल पुलिस की उपस्थिति से सुरक्षा की भावना बनी है, बल्कि इन इलाकों में अब नेटवर्क भी पहुंच गया है। सरकार ने अब तक कुल 671 मोबाइल टावर चालू कर दिए हैं, जिनमें से 365 टावरों में 4G सेवा उपलब्ध है। यह न सिर्फ तकनीकी बदलाव है, बल्कि यह संकेत है कि अब आदिवासी क्षेत्रों में संचार क्रांति की शुरुआत हो चुकी है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि अब बस्तर में सिर्फ मोबाइल टावर नहीं लग रहे हैं, बल्कि ये टावर इस बात का सबूत हैं कि वहां के बच्चे और युवा भी अब डिजिटल दुनिया से जुड़ रहे हैं। पहले जहां बच्चों को पढ़ाई या नौकरी की तैयारी के लिए शहर जाना पड़ता था, अब वही काम वे अपने गांव में मोबाइल नेटवर्क के ज़रिए ऑनलाइन कर पा रहे हैं। अब बस्तर का युवा भी स्मार्टफोन से अपनी दुनिया खुद बना रहा है।
मुख्यमंत्री श्री साय ने बताया सुरक्षा कैंपों के इर्द-गिर्द बसते गांवों में अब बिजली, पानी, स्वास्थ्य और शिक्षा जैसी बुनियादी सुविधाएं पहुँच रही हैं। नियद नेल्लानार योजना के तहत चिन्हित 146 ग्रामों में 18 सामुदायिक सेवाएं और 25 तरह की सरकारी योजनाएं एक साथ क्रियान्वित की जा रही हैं।
मुख्यमंत्री ने बताया सुशासन तिहार के तहत अब तक सैकड़ों समाधान शिविर आयोजित किए गए हैं, जहां सांसद से लेकर विधायक तक गांव गांव पहुंचकर जनता की शिकायतों का समाधान किया। इन शिविरों में ग्रामीणों को राशन कार्ड, आधार, पेंशन, स्वास्थ्य परीक्षण, स्कूल प्रवेश, आयुष्मान कार्ड, प्रधानमंत्री आवास, उज्ज्वला गैस जैसी योजनाओं का लाभ एक ही मंच पर दिया गया है।
मुख्यमंत्री श्री साय ने छत्तीसगढ़ में जल संरक्षण के लिए की जा रही योजनाओं और नवाचारों की विस्तारपूर्वक जानकारी दी। उन्होंने बताया कि राज्य सरकार जल संकट से निपटने के लिए मिशन मोड में काम कर रही है, और जनभागीदारी से लेकर तकनीकी उपायों तक, हर स्तर पर प्रभावी प्रयास किए जा रहे हैं।
मुख्यमंत्री श्री विष्णुदेव साय ने प्रधानमंत्री को बताया कि छत्तीसगढ़ में अब बारिश के दिन कम हो गए हैं — पहले जहाँ लगभग 100 दिन बारिश होती थी, अब सिर्फ़ 65 दिन ही होती है। तकनीक के तहत गांव-गांव में पानी बचाने के नए तरीके अपनाए जा रहे हैं। जहां पहले पानी बरसकर बह जाता था, अब उसे रोकने और जमा करने की कोशिश हो रही है। इस काम में आधुनिक तकनीक जैसे GIS मैपिंग और ‘जलदूत’ नाम का मोबाइल ऐप इस्तेमाल किया जा रहा है, जिससे यह पता चलता है कि कहां कितनी ज़रूरत है।
सबसे खास बात यह है कि इस अभियान में महिलाएं बड़ी भागीदारी निभा रही हैं। महिला समूह तालाबों की सफाई, गहराई बढ़ाने, और पुराने जल स्रोतों को फिर से जीवित करने में आगे आ रही हैं। इस साझेदारी से गांवों में पानी की कमी दूर हो रही है और लोगों को अपने इलाके में ही साफ और पर्याप्त पानी मिल रहा है।
मुख्यमंत्री श्री साय ने प्रधानमंत्री को नालंदा परिसर की जानकारी भी दी, जो देश की पहली 24x7 हाईब्रिड सार्वजनिक लाइब्रेरी है। 18 करोड़ की लागत से बनी इस सुविधा में ई-लाइब्रेरी, यूथ टॉवर, हेल्थ ज़ोन और सौर ऊर्जा आधारित व्यवस्था है। अब तक 11,000 से अधिक छात्र लाभांवित हो चुके हैं, जिनमें 300 से अधिक छात्र यूपीएससी और सीजी पीएससी में सफलता पाई है। साथ ही, मुख्यमंत्री ने ‘प्रयास’ मॉडल की भी जानकारी दी, जिसमें वंचित व आदिवासी बच्चों को आईआईटी, नीट, क्लैट जैसी परीक्षाओं की तैयारी कराई जाती है। अब तक 1508 छात्र चुनिंदा राष्ट्रीय संस्थानों में प्रवेश पा चुके हैं।
प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी ने मुख्यमंत्री श्री साय के प्रयासों की सराहना की और छत्तीसगढ़ के विकास में केंद्र सरकार के पूर्ण सहयोग का आश्वासन दिया। -
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नक्सल ऑपरेशन की उपलब्धियों और बस्तर के विकास की दी जानकारी
नई दिल्ली : छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री श्री विष्णुदेव साय ने शुक्रवार को केंद्रीय गृहमंत्री श्री अमित शाह से नई दिल्ली में मुलाकात की। इस दौरान मुख्यमंत्री ने प्रदेश में माओवादी विरोधी अभियानों की अब तक की सफलताओं और बस्तर अंचल में चल रहे विकास कार्यों की विस्तृत जानकारी दी। इस अवसर पर छत्तीसगढ़ के उप मुख्यमंत्री एवं गृह मंत्री श्री विजय शर्मा तथा मुख्यमंत्री के प्रमुख सचिव श्री सुबोध सिंह उपस्थित थे।
मुख्यमंत्री ने बताया कि राज्य सरकार की नई रणनीति और केंद्र के सहयोग से नक्सल उन्मूलन अभियान को निर्णायक मोड़ पर पहुंचाया गया है। विगत डेढ़ वर्ष में चलाए गए सघन अभियानों के सकारात्मक परिणाम मिले हैं। 1,428 माओवादियों ने आत्मसमर्पण किया है, जो बीते पांच वर्षों की तुलना में उल्लेखनीय वृद्धि है।
मुख्यमंत्री श्री साय ने अवगत कराया कि 205 मुठभेड़ों में 427 माओवादी मारे गए, जिनमें संगठन के शीर्ष नेता महासचिव बसवा राजू और सेंट्रल कमेटी सदस्य सुधाकर जैसे कुख्यात माओवादी शामिल हैं। इसके साथ ही, राज्य में 64 नए फॉरवर्ड सुरक्षा कैंपों की स्थापना की गई है, जिससे सुरक्षा नेटवर्क मजबूत हुआ है।
उन्होंने बताया कि इन सुरक्षा कैंपों के आसपास बसे गांवों तक अब बिजली, पेयजल, स्वास्थ्य सेवाएं और स्कूल जैसी बुनियादी सुविधाएं तेजी से पहुँचाई जा रही हैं। ‘नियद नेल्लानार योजना’ के अंतर्गत चिन्हित 146 ग्रामों में एकीकृत रूप से 18 प्रकार की सामुदायिक सेवाएं और 25 प्रकार की शासकीय योजनाएं क्रियान्वित की जा रही हैं, जिससे स्थानीय लोगों का विश्वास शासन तंत्र में बढ़ा है।
गृहमंत्री अमित शाह ने मुख्यमंत्री साय द्वारा प्रस्तुत प्रगति रिपोर्ट की सराहना करते हुए कहा कि छत्तीसगढ़ सरकार के प्रयासों से माओवादी गतिविधियों पर निर्णायक नियंत्रण संभव हो रहा है और केंद्र सरकार राज्य को हर संभव सहायता देती रहेगी। -
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कलाकारों के सपनों का मंच होगा कलाग्राम: मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय
छत्तीसगढ़ सरकार देगी 10 एकड़ भूमि
रायपुर : नवा रायपुर अटल नगर में पुरखौती मुक्तांगन के सामने भव्य एवं आकर्षक कलाग्राम की स्थापना होगी। इसके लिए छत्तीसगढ़ सरकार द्वारा 10 एकड़ भूमि निःशुल्क दी जाएगी। यह निर्णय 4 जून को मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय के अध्यक्षता में नवा रायपुर स्थित महानदी मंत्रालय भवन में मंत्रिपरिषद की बैठक में लिया गया। इसक उद्देश्य छत्तीसगढ़ में कला, संस्कृति और शिल्प को प्रोत्साहन देना है। संस्कृति मंत्रालय, भारत सरकार की मांग पर कलाग्राम हेतु नवा रायपुर के सेक्टर-24, ग्राम उपरवारा में लगभग 10 एकड़ भूमि निःशुल्क आबंटित किए जाने की मंजूरी दी है।
मुख्यमंत्री श्री विष्णुदेव साय का कहना है कि कलाग्राम की स्थापना छत्तीसगढ़ की पारंपरिक कला, संस्कृति और शिल्प को राष्ट्रीय और अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर पहचान दिलाने की दिशा में एक ऐतिहासिक कदम है। यह सिर्फ एक संरचना नहीं, बल्कि हमारे कलाकारों के सपनों का मंच होगा, जो उन्हें अपनी प्रतिभा को प्रदर्शित करने और जीविका के अवसर प्राप्त करने में सहयोग करेगा। हमारी सरकार लोककला और हस्तशिल्प को आत्मनिर्भर भारत की भावना से जोड़कर उन्हें वैश्विक मंच देना चाहती है।
यह कलाग्राम शिल्पकारों, लोक कलाकारों और परंपरागत कारीगरों के लिए एक समर्पित केंद्र होगा, जो सांस्कृतिक आदान-प्रदान को बढ़ावा देगा और रचनात्मक अर्थव्यवस्था के केन्द्र के रूप में कार्य करते हुए कला, संस्कृति एवं छत्तीसगढ़ की समृद्ध विरासत का प्रदर्शन करेगा। यह केंद्र निर्माण, संचालन एवं संरक्षण कार्यों सहित सभी खर्च भारत सरकार के संस्कृति मंत्रालय द्वारा वहन किया जाएगा।
उल्लेखनीय है कि नवा रायपुर अटल नगर विकास प्राधिकरण द्वारा चिन्हांकित यह भूमि पुरखौती मुक्तांगन के सामने स्थित है, जो दो ओर से मुख्य मार्ग से जुड़ी हुई है तथा कलाग्राम के लिए उपयुक्त मानी गई है। चूंकि नवा रायपुर विकास प्राधिकरण एक स्ववित्त पोषित संस्था है, इसलिए राज्य शासन उक्त भूमि के प्रीमियम एवं भू-भाटक की प्रतिपूर्ति की राशि प्राधिकरण को भुगतान करेगा। यह निर्णय न केवल छत्तीसगढ़ की सांस्कृतिक समृद्धि को सुदृढ़ करेगा, बल्कि स्थानीय कारीगरों एवं शिल्पकारों के लिए राष्ट्रीय स्तर पर अपनी कला को प्रदर्शित करने का एक स्थायी मंच भी प्रदान करेगा। -
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राज्य में आयुष के जरिए बेहतर उपचार की हैं संभावनाएं: मुख्यमंत्री
राष्ट्रीय गुणवत्ता आश्वासन मानक (एनक्यूएएस) कार्यक्रम में देश में 5वें स्थान पर है छत्तीसगढ़: स्वास्थ्य मंत्री श्री श्याम बिहारी जायसवाल
आमजन के हित में स्वास्थ्य सुविधाओं के विस्तार का मुख्यमंत्री ने दिया निर्देश
मुख्यमंत्री की अध्यक्षता में स्वास्थ्य विभाग की समीक्षा बैठक सम्पन्न
रायपुर : मुख्यमंत्री श्री विष्णुदेव साय ने स्वास्थ्य विभाग के सभी प्रमुख अधिकारियों को निर्देश देते हुए कहा है कि दवाइयों की पहुंच अंतिम व्यक्ति तक सुनिश्चित होना चाहिए। उन्होंने कहा है कि राज्य में आयुष के जरिए उपचार की बेहतर संभावनाएं मौजूद हैं , इसे और विस्तारित करने की आवश्यकता है। उन्होंने कहा कि आमजन के हित में स्वास्थ्य सुविधाओं का विस्तार होते रहना चाहिए। उन्होंने कहा है कि अस्पतालों में मरीजों के लिए बेहतर सुविधाएं सुनिश्चित हो और उन्हें अपने घर के आस पास ही अच्छा इलाज मिले। मुख्यमंत्री श्री विष्णुदेव साय आज मंत्रालय में स्वास्थ्य विभाग की विभिन्न योजनाओं की समीक्षा कर रहे थे। मुख्यमंत्री श्री विष्णुदेव साय ने स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों को निर्देश दिए हैं कि एनीमिया, मैटरनल प्रोग्राम और लेप्रोसी जैसी बीमारियों पर प्राथमिकता से काम किया जाए।
बैठक में स्वास्थ्य मंत्री श्री श्याम बिहारी जायसवाल ने मुख्यमंत्री को जानकारी देते हुए बताया कि छत्तीसगढ़ राष्ट्रीय गुणवत्ता आश्वासन मानक (एनक्यूएएस) कार्यक्रम में देश में 5वें स्थान पर है। उन्होंने कहा कि आने वाले दिनों में राज्य में स्वास्थ्य सुविधाओं का और बेहतर विस्तार होता रहेगा। श्री जायसवाल ने राज्य सरकार के गठन के बाद स्वास्थ्य के क्षेत्र में की गयी उपलब्धियों की जानकारी देते हुए भविष्य की योजनाओं को भी मुख्यमंत्री के सामने रखा।
स्वास्थ्य विभाग के सचिव श्री अमित कटारिया ने बैठक की जानकारी देते हुए बताया कि छत्तीसगढ़ राज्य टीबी और मलेरिया जैसी बीमारियों के उन्मूलन की दिशा में बेहतर कार्य कर रहा है। टीबी उन्मूलन की दिशा में उपचार सफलता की दर 90 फीसदी है जबकि इस दौरान शत प्रतिशत टीबी मरीजों का नोटिफिकेशन किया गया है। इसके साथ ही राज्य में मार्च 2025 तक टीकाकरण का 94 फीसदी लक्ष्य पूर्ण किया गया है।
स्वास्थ्य विभाग की समीक्षा बैठक में मुख्य सचिव श्री अमिताभ जैन, मुख्यमंत्री के प्रमुख सचिव श्री सुबोध कुमार सिंह, स्वास्थ्य विभाग के सचिव श्री अमित कटारिया, मुख्यमंत्री के सचिव श्री राहुल भगत एवं श्री मुकेश बंसल, आयुक्त चिकित्सा शिक्षा एवं आयुक्त आयुष विभाग श्रीमती शिखा राजपूत तिवारी, प्रबंध संचालक एनएचएम एवं आयुक्त सह संचालक डॉ प्रियंका शुक्ला, खाद्य एवं औषधि विभाग के नियंत्रक श्री दीपक अग्रवाल समेत स्वास्थ्य विभाग के वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे। -
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रायपुर : कर्नाटक के चिन्नास्वामी स्टेडियम में हुए भगदड़ में कई लोगों की असामयिक मृत्यु एवं घायल होने की घटना पर छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय ने गहरा शोक व्यक्त किया है।उन्होंने कहा कि यह घटना अत्यंत दुखद है। विपदा की इस घड़ी में हम अपेक्षा करते हैं कि कर्नाटक सरकार इस घटना की गंभीरता को देखते हुए राहत और बचाव के सभी आवश्यक कदम शीघ्रता से उठाएगी, ताकि पीड़ितों को हरसंभव सहायता मिल सके और भविष्य में ऐसी घटनाओं की पुनरावृत्ति न हो।मुख्यमंत्री श्री साय ने शोकाकुल परिवारों के प्रति अपनी गहरी संवेदना व्यक्त करते हुए दिवंगत आत्माओं की शांति तथा घायलों के शीघ्र स्वास्थ्य लाभ की प्रार्थना की है।
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रायपुर : मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय ने प्रदेशवासियों को विश्व पर्यावरण दिवस की बधाई और शुभकामनाएं दी हैं। मुख्यमंत्री श्री साय ने पर्यावरण संरक्षण के महत्व पर जोर देते हुए कहा कि हम प्रतिवर्ष 5 जून को विश्व पर्यावरण दिवस मनाते हैं। उन्होंने कहा कि यह दिन मानव और प्रकृति के बीच प्रेम और सामंजस्य बढ़ाने के लिए प्रेरित करता है। मुख्यमंत्री श्री साय ने कहा कि प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी जी द्वारा पर्यावरण संरक्षण के लिए चलाया गया 'एक पेड़ माँ के नाम' अभियान एक व्यापक जन अभियान बन गया है। वृक्षों को कटने से बचाने के साथ-साथ अधिक से अधिक वृक्षारोपण करने के लिए लोगों को आगे आना चाहिए और दूसरों को भी वृक्षारोपण के लिए जागरूक करना चाहिए, जिससे हम प्रदूषण रहित, स्वस्थ छत्तीसगढ़ और स्वस्थ भारत के निर्माण में योगदान दे सकें।
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मुख्यमंत्री छत्तीसगढ़ हस्तशिल्प विकास बोर्ड की नवनियुक्त अध्यक्ष श्रीमती शालिनी राजपूत के पदभार ग्रहण समारोह में हुए शामिल
मुख्यमंत्री ने हस्तशिल्पियों को औजार उपकरण योजना अंतर्गत अनुदान राशि का किया वितरण
रायपुर : मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय आज राजधानी रायपुर स्थित पंडित दीनदयाल उपाध्याय ऑडिटोरियम में आयोजित छत्तीसगढ़ हस्तशिल्प विकास बोर्ड की नवनियुक्त अध्यक्ष श्रीमती शालिनी राजपूत के पदभार ग्रहण समारोह में शामिल हुए। इस अवसर पर मुख्यमंत्री ने कहा कि छत्तीसगढ़ में हस्तशिल्प विकास की अपार संभावनाएं हैं। यहां की कलाकृतियों की मांग विदेशों तक है। छत्तीसगढ़ के हस्तशिल्प उत्पादों को बाजार उपलब्ध कराने और हस्तशिल्पियों को उनके हुनर की उचित कीमत दिलाने के लिए सरकार प्रतिबद्ध है। मुख्यमंत्री ने हस्तशिल्पियों को औजार उपकरण योजना अंतर्गत पाँच पांच हजार रुपये की अनुदान राशि का वितरण किया।
मुख्यमंत्री श्री साय ने छत्तीसगढ़ शिल्प विकास बोर्ड की नवनियुक्त अध्यक्ष श्रीमती शालिनी राजपूत को पदभार ग्रहण करने पर बधाई एवं शुभकामनाएं देते हुए कहा कि उनके नेतृत्व में छत्तीसगढ़ हस्तशिल्प विकास बोर्ड शिल्पकारों की बेहतरी के लिए कार्य करेगा। उन्होंने कहा कि छत्तीसगढ़ के प्रत्येक इलाके में हस्तशिल्पी बहुत अच्छा काम कर रहे हैं। सुशासन तिहार के दौरान मुझे कोंडागांव के शिल्पग्राम जाने का मौका मिला। वहाँ मैंने शिल्पकारों से मुलाकात की और उनकी कला को करीब से देखा।इसी प्रकार रायगढ़ के एकताल में भी शिल्पकार धातु से कलाकृतियाँ बनाते हैं। बस्तर में काष्ठशिल्प से लकड़ी की सुंदर आकृतियाँ बनाई जाती हैं। पूरे प्रदेश में हस्तशिल्पियों का हुनर अद्भुत है। आज इस कार्यक्रम में मुझे जो सुंदर टोपी भेंट की गई, वह छिंद और कांसा से बनाई गई थी। जशपुर में हमारे गाँव के नजदीक कोटामपानी में भी छिंद और कांसा से बहुत सुंदर-सुंदर कलाकृतियाँ बनाई जाती हैं।
मुख्यमंत्री श्री साय ने कहा कि शिल्पकारों को अधिक से अधिक प्रशिक्षण देने की जरूरत है। यह बहुत महत्वपूर्ण बात है कि हस्तशिल्प का कार्य ज्यादातर ग्रामीण इलाकों में होता है। इसलिए हस्तशिल्प विकास के द्वारा हम बहुत बड़े पैमाने पर ग्रामीणों को रोजगार उपलब्ध करा सकते हैं। मुझे आशा है कि हस्तशिल्प विकास बोर्ड इस ओर कार्य करेगा और शिल्पकारों को प्रशिक्षण के साथ ही उन्हें लोन-सब्सिडी भी अधिक से अधिक दिलाकर रोजगार से जोड़ेगा।
मुख्यमंत्री ने कहा कि कोंडागांव के डोकरा आर्ट की विदेशों में माँग है। यह जरूरी है कि शिल्पकारों को बाजार के साथ उत्पाद की उचित कीमत मिले। बिना बिचौलियों के हस्तशिल्पियों की पहुँच सीधे बाजार तक हो, ताकि उन्हें अधिक से अधिक लाभ मिले।
मुख्यमंत्री श्री साय ने कहा कि यह बहुत खुशी की बात है कि छत्तीसगढ़ के गढ़बेंगाल के पंडी राम मांझी को पद्मश्री से सम्मानित किया गया है। छत्तीसगढ़ की कला हमारे देश की शान है, इसे पूरी दुनिया में पहचान मिलनी चाहिए।
विधानसभा अध्यक्ष डॉ. रमन सिंह ने कहा कि छत्तीसगढ़ के कलाकारों के हाथ में चमत्कार है। चाहे वह मिट्टी के खिलौनों की बात हो या बेल मेटल, कसीदाकारी, गोदना और टेराकोटा की, प्रदेश के हस्तशिल्पी अपनी कला के बहुत सुंदर उत्पाद बना रहे हैं। छत्तीसगढ़ के हस्तशिल्प की राष्ट्रीय-अंतरराष्ट्रीय स्तर की प्रदर्शनियों में भागीदारी होनी चाहिए। हमारे शिल्पकारों के पास कुदरती हुनर है। बड़े पैमाने पर हस्तशिल्प उत्पादन के लिए डिज़ाइनरों को भी जोड़ने की जरूरत है।
इस अवसर पर महिला एवं बाल विकास मंत्री श्रीमती लक्ष्मी राजवाड़े, सांसद श्रीमती कमलेश जांगड़े, विधायक श्री धरमलाल कौशिक, श्री सुनील सोनी, श्री आशाराम नेताम, श्री गजेंद्र यादव, विभिन्न निगम-मंडल-आयोग के अध्यक्षगण, छत्तीसगढ़ हस्तशिल्प विकास बोर्ड के प्रबंध संचालक श्री जेपी मौर्य सहित अनेक गणमान्य नागरिक उपस्थित थे। -
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रायपुर : मुख्यमंत्री श्री विष्णुदेव साय से आज नवा रायपुर के मंत्रालय महानदी भवन में भारतीय प्रशासनिक सेवा 2024 बैच के प्रशिक्षु अधिकारियों ने सौजन्य मुलाकात की। मुख्यमंत्री श्री साय को अपर मुख्य सचिव तथा छत्तीसगढ़ प्रशासन अकादमी निमोरा के महानिदेशक श्री सुब्रत साहू ने बताया कि भारतीय प्रशासनिक सेवा 2024 के पाँच अधिकारियों—श्री फड़तरे अनिकेत अशोक, श्री अरविंद कुमारन टी., श्री अक्षय डोसी, श्री क्षितिज गुरभेले और श्री विपिन दुबे को छत्तीसगढ़ कैडर मिला है। छत्तीसगढ़ प्रशासन अकादमी निमोरा में इन अधिकारियों को 28 अप्रैल से 20 जून तक प्रशिक्षण दिया जा रहा है। इसके पश्चात इनकी पदस्थापना सहायक कलेक्टर के पद पर जशपुर, बिलासपुर, रायगढ़, कोरबा और बस्तर जिलों में की जाएगी।
मुख्यमंत्री श्री विष्णुदेव साय ने प्रशिक्षु अधिकारियों को बधाई एवं शुभकामनाएँ दीं और उनसे प्रशिक्षण तथा छत्तीसगढ़ के अनुभवों के बारे में जानकारी ली। मुख्यमंत्री ने अधिकारियों से कहा कि आप ऐसे समय में छत्तीसगढ़ में अपने करियर की शुरुआत कर रहे हैं, जब यहाँ बहुत सकारात्मक परिवर्तन हो रहे हैं। पिछले डेढ़ साल में छत्तीसगढ़ में हर क्षेत्र में बहुत अच्छा कार्य हुआ है। खासकर, छत्तीसगढ़ की नक्सल-प्रभावित राज्य की छवि अब बदल रही है। जल्द ही छत्तीसगढ़ नक्सलमुक्त होगा।
मुख्यमंत्री ने कहा कि हाल ही में सुशासन तिहार सम्पन्न हुआ है। इसके तीसरे चरण में हमने पूरे प्रदेश का दौरा करके जनता से फीडबैक लिया और उनकी समस्याओं का निराकरण किया। मुख्यमंत्री को प्रशिक्षु अधिकारियों ने बताया कि प्रशिक्षण के दौरान उन्हें भी समाधान शिविर में जाने का अवसर मिला। प्रशिक्षण संचालक श्रीमती सीमा सिंह ने बताया कि प्रशिक्षण के दौरान अधिकारियों को छत्तीसगढ़ की प्रशासनिक संरचना, नियम-कायदे और प्रक्रियाओं की जानकारी दी गई। उन्हें अलग-अलग विभागों के कार्यों, शासन की नीतियों और विभिन्न योजनाओं तथा जिलों की प्रशासनिक कार्यप्रणाली के बारे में बताया गया।
इस मौके पर मुख्यमंत्री के प्रमुख सचिव श्री सुबोध कुमार सिंह, मुख्यमंत्री के सचिव श्री राहुल भगत और छत्तीसगढ़ प्रशासन अकादमी के संचालक श्री टी.सी. महावर उपस्थित थे। -
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खेल प्रतिभाओं को मिली नई उड़ान
रायपुर : छत्तीसगढ़ सरकार की खेल प्रतिभाओं को ग्रामीण अंचलों से उभारने की प्रतिबद्धता अब ज़मीनी हकीकत बनती जा रही है। मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय के मंशानुरूप जशपुर जिले के दूरस्थ ग्राम पंचायत करडेगा में 10 लाख रुपये की लागत से खेल मैदान का निर्माण हुआ है, जो न केवल युवाओं के खेल भविष्य को संवारेगा, बल्कि उन्हें स्वस्थ जीवनशैली की दिशा में प्रेरित करेगा।
खेल प्रतिभाओं की पहचान और उनका पोषण तभी संभव है जब उन्हें अभ्यास और प्रदर्शन के लिए आवश्यक संसाधन और सुविधाएं मिलें। यही सोच लेकर प्रदेश के मुखिया श्री विष्णु देव साय खेल अधोसंरचना के विस्तार को प्राथमिकता दे रहे हैं। करडेगा का यह नया खेल मैदान उनकी दूरदर्शी सोच का उदाहरण है।
करडेगा के लोग खेलों के प्रति उत्साही हैं, लेकिन अब तक उपयुक्त स्थान की कमी के चलते युवा पीढ़ी मोबाइल गेम्स और निष्क्रिय जीवनशैली तक सीमित होती जा रही थी। परंतु अब गांव को एक अच्छा खेल परिसर मिलने से खेलों के प्रति उनका उत्साह और ऊर्जा नया आयाम पा रही है। महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी योजना (मनरेगा) अंतर्गत इस खेल मैदान का निर्माण दस लाख रुपए से कराया गया है। खेल मैदान के निर्माण कार्य से कुल 1459 मानव दिवस सृजित हुए, जिससे ग्रामवासियों को स्थानीय स्तर पर रोजगार भी मिला।
अब करडेगा के बच्चे खाली समय में घर पर बैठने या मोबाइल में उलझे रहने के बजाय खेल मैदान का भरपूर उपयोग कर रहे हैं। बैंडमिंटन, वॉलीबॉल और फुटबॉल जैसे खेल नियमित रूप से यहां आयोजित हो रहे हैं। गांव का हाई स्कूल पास में होने के कारण विद्यार्थी भी अब यहां विभिन्न खेलों में हिस्सा लेने लगे है। मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय का यह संकल्प कि खेल प्रतिभा तभी उभरेगी जब सुविधाएं होंगी। यह संकल्प अब साकार होता दिख रहा है। -
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मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय होंगे मुख्य अतिथि
रायपुर : मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय कल 3 जून 2025 को राजधानी रायपुर के पंडित दीनदयाल उपाध्याय ऑडिटोरियम में छत्तीसगढ़ हस्तशिल्प विकास बोर्ड की नवनियुक्त अध्यक्ष श्रीमती शालिनी राजपूत के शपथ ग्रहण समारोह में मुख्य अतिथि के रूप में शामिल होंगे। इस अवसर पर छत्तीसगढ़ विधानसभा अध्यक्ष डॉ. रमन सिंह कार्यक्रम की अध्यक्षता करेंगे।
इस गरिमामय कार्यक्रम में उप मुख्यमंत्री द्वय श्री अरूण साव एवं श्री विजय शर्मा, कृषि मंत्री श्री रामविचार नेताम, खाद्यमंत्री श्री दयालदास बघेल, वन मंत्री श्री केदार कश्यप, श्रम एवं उद्योग मंत्री श्री लखनलाल देवांगन, स्वास्थ्य मंत्री श्री श्याम बिहारी जायसवाल, वित्त मंत्री श्री ओ.पी. चौधरी, महिला एवं बाल विकास मंत्री श्रीमती लक्ष्मी राजवाड़े, खेल मंत्री श्री टंकराम वर्मा, सांसद श्री बृजमोहन अग्रवाल, श्री भोजराज नाग, विधायक श्री किरण सिंह देव, श्री राजेश मूणत, श्री विक्रम उसेण्डी, श्री सुनील सोनी, श्री पुरंदर मिश्रा, श्री मोतीलाल साहू, श्री आशाराम नेताम एवं महापौर, नगर निगम रायपुर श्रीमती मीनल चौबे विशिष्ट अतिथि के रूप में शामिल होंगी। -
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कोण्डागांव जिले में 94 करोड़ रूपए से अधिक के विकास कार्यों का किया लोकार्पण और शिलान्यास
भोंगापाल में बुद्ध महोत्सव के लिए 25 लाख रूपए की घोषणा
भोंगापाल का सांस्कृतिक व पर्यटन क्षेत्र में उन्नयन के लिए मिलेगी एक करोड़ की राशि
रायपुर : छत्तीसगढ़ ने बौद्ध धर्म से जुड़ी सुंदर स्मृतियों को अपनी अमूल्य विरासत के रूप में सहेज कर रखा है। हमारा सौभाग्य है कि भगवान बुद्ध की चेतना का प्रसार समकालीन छत्तीसगढ़ में व्यापक रूप से हुआ और बस्तर की पुण्य धरा इसके साक्ष्य मिले हैं। मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय आज कोण्डागांव जिले के भोंगापाल में भगवान बुद्ध की जयंती के अवसर पर आयोजित बुद्ध महोत्सव और लोकार्पण व भूमिपूजन कार्यक्रम को संबोधित कर रहे थे। मुख्यमंत्री श्री साय ने इस मौके पर कोण्डागांव जिले में 94 करोड़ 18 लाख रूपए से अधिक की लागत वाले विकास कार्यों का लोकार्पण व शिलान्यास कर जिलेवासियों को बड़ी सौगात दी। मुख्यमंत्री और अतिथियों ने भगवान बुद्ध के छायाचित्र पर माल्यार्पण कर कार्यक्रम का विधिवत शुभारंभ किया।
मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय ने कहा कि भोंगापाल का धार्मिक, सांस्कृतिक और ऐतिहासिक महत्व इतना अधिक है कि आज यहां जनसैलाब उमड़ पड़ा है। उन्होंने कहा कि हमारी सरकार ने बस्तर में शांति स्थापना और विकास के लिए कार्य कर रही है। उन्होंने कहा कि पिछले डेढ़ वर्षाे में हमने जो विकास किया है इसे आप सभी जानते है और लाभान्वित भी हो रहे हैं। हमारी सरकार ने प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी जी की सभी गारंटियों को पूरा करने का काम किया है।
इस अवसर पर मुख्यमंत्री ने पलेना एवं परोदा नदी पर उच्च स्तरीय पुल निर्माण, भोंगपाल बुद्ध महोत्सव के आयोजन के लिए 25 लाख रूपए, सांस्कृतिक दलों को बढ़वा देने के लिए उनके वेश भूषा पहनावा ढोल मांदर सांस्कृतिक गतिविधियों तथा भोंगपाल को सांस्कृतिक पर्यटन क्षेत्र के उन्नयन के लिए एक करोड़ रूपये स्वीकृत किए जाने की घोषणा की।
मुख्यमंत्री श्री साय ने आगे कहा कि प्रदेश के गरीब व जरूरतमंद परिवारों को हमारी सरकार ने पहली कैबिनेट बैठक में 18 लाख आवास स्वीकृत करने का जो सिलसिला शुरू किया था, वह अनवरत जारी है। श्री साय ने कहा कि नक्सल पीड़ित और आत्मसमर्पित नक्सलियों के लिए भी 15 हजार आवास स्वीकृत किए गए है और विशेष पिछड़ी जनजातियों के लिए भी लगातार आवास देने का काम हमारी सरकार कर रही है। मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश की 70 लाख से अधिक माताओं बहनों को महतारी वंदन योजना की राशि नियमित रूप से दी जा रही है।सुशासन तिहार में प्रदेशव्यापी भ्रमण के दौरान अनेक माताओं बहनों ने महतारी वंदन योजना से जीवन में आए बदलावों के बारे में मुझे बताया है। नारायणपुर प्रवास के दौरान एक अबूझमाड़िया बहन ने बताया कि योजना से मिली राशि से उन्होंने सिलाई मशीन खरीदी और अब उसे अच्छी आय हो रही है। पूरे प्रदेश में महिलाओं को आर्थिक संबल मिल रहा है, जो इस बात का प्रमाण है कि हम अपने उद्देश्य में सफल हो रहे हैं। मुख्यमंत्री ने हाल ही ग्राम पंचायत भवनों में शुरू हुए अटल डिजिटल सुविधा केंद्र के माध्यम से ग्रामीणों को मिल रही बैंकिंग सुविधाओं के बारे में जानकारी दी और कहा कि आने वाले एक साल में सभी पंचायतों में यह सुविधा प्रारंभ होगी।
मुख्यमंत्री श्री साय ने कहा कि बस्तर की प्राकृतिक सुंदरता देश विदेश में प्रसिद्ध है और इस क्षेत्र में पर्यटन बढ़ रहा है। उन्होंने कहा कि बस्तर में शांति स्थापित हो इसके लिए हमारे जवान नक्सलियों से डटकर मुकाबला कर रहे हैं। हमारी डबल इंजन की सरकार नक्सलियों के उन्मूलन के लिए प्रतिबद्ध है और बस्तर में शांति स्थापना के अपने संकल्प को हम पूरा करेंगे। उन्होंने कहा कि बस्तर में नियद नेल्लानार योजना के माध्यम से सुदूर इलाकों तक मूलभूत सुविधाएं पहुंचाई जा रही है। श्री साय ने कहा कि खेती से लेकर पर्यटन तक को बढ़ावा देने का काम हमारी सरकार कर रही है। इसी आशय से पर्यटन को उद्योग का दर्जा दिया गया है। प्रदेश सरकार युवाओं के हित में लगातार भर्तियां भी कर रही है और जल्द ही 5000 शिक्षकों की भर्ती की स्वीकृति भी दी जाएगी।
मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय ने कार्यक्रम में आत्मसमर्पित नक्सली और नक्सल पीड़ित परिवार के लोगांे को जाति प्रमाण पत्र, पीएम आवास के हितग्राहियों को चाबी प्रदान की। मुख्यमंत्री श्री साय ने विभिन्न विभागीय स्टालों का अवलोकन कर कृषि विभाग, समाज कल्याण विभाग, मत्स्य विभाग, श्रम विभाग और महिला एवं बाल विकास विभाग अंतर्गत विभिन्न योजनाओं से लाभान्वित हितग्राहियों को विभिन्न उपकरण और सामग्रियां वितरित की।
कार्यक्रम में विधानसभा अध्यक्ष डॉ. रमन सिंह ने अपने उद्बोधन में कहा कि बस्तर परिवर्तन की करवट ले रहा है, अंचल में शांति की स्थापना हो रही है। उन्होंने भोंगापाल में स्थित छठवीं शताब्दी की ऐतिहासिक बुद्ध प्रतिमा और बुद्ध विहार का उल्लेख करते हुए कहा कि बस्तर में भगवान बुद्ध का गहरा प्रभाव रहा है। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय के नेतृत्व में छत्तीसगढ़ सरकार बस्तर के समग्र विकास के लिए समर्पित होकर कार्य कर रही है। उन्होंने राज्य सरकार के जनहितैषी योजनाओं से प्रदेशवासियों के जीवन में आ रहे सकारात्मक बदलाव का विशेष रूप से जिक्र किया। डॉ. सिंह ने कार्यक्रम के सफल आयोजन पर आयोजकों को शुभकामनाएं दीं।
इस अवसर पर उद्योग मंत्री श्री लखनलाल देवांगन, वन मंत्री श्री केदार कश्यप, सांसद श्री महेश कश्यप, विधायक सुश्री लता उसेंडी, विधायक श्री नीलकंठ टेकाम, बौद्ध धर्मगुरु भदन्त आर्य नागार्जुन सुरई ससई, श्री अनिल खोब्रागड़े संयोजक बुद्ध महोत्सव और बड़ी संख्या में बौद्ध समाज के अनुयायी, प्रबुद्धजन मौजूद थे। -
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रायपुर : मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय ने कोंडागांव जिले के भोंगापाल गांव में प्राचीन शिव मंदिर परिसर में महालक्ष्मी महिला स्वसहायता समूह के सदस्यों को कयाकिंग 05 नग नाव प्रदाय किया और संयुक्त वन प्रबंधन समिति भोंगापाल को तमुर्रा नाला में बांस नौका विहार केंद्र के शुभारंभ के लिए सामग्री बांटी। इस दौरान मुख्यमंत्री ने महिला समूह के अध्यक्ष सुनीता नाग सहित अन्य सदस्यों से चर्चा की। मुख्यमंत्री ने इस मौके पर एक पेड़ मां के नाम अभियान के तहत प्राचीन शिव मंदिर परिसर भोंगापाल में पीपल के पौधे का रोपण किया।
इस अवसर पर विधानसभा अध्यक्ष डॉ. रमन सिंह, उद्योग मंत्री श्री लखनलाल देवांगन, वन मंत्री श्री केदार कश्यप, सांसद श्री महेश कश्यप, विधायक सुश्री लता उसेंडी, विधायक श्री नीलकंठ टेकाम, बौद्ध धर्मगुरु भदन्त आर्य नागार्जुन सुरई ससई, श्री अनिल खोब्रागड़े संयोजक बुद्ध महोत्सव और बड़ी संख्या में बौद्ध समाज के अनुयायी, प्रबुद्धजन मौजूद थे। -
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बस्तर के नारायणपाल में लगाई चौपाल, जानी योजनाओं की जमीनी हकीकत
रायपुर : श्री विष्णु देव साय ने कहा है कि हर जरूरतमंद के साथ राज्य सरकार खड़ी है, जनकल्याण ही हमारी सर्वाेच्च प्राथमिकता है। सुशासन मतलब है अच्छा शासन। सुशासन तिहार के अंतिम चरण के अंतर्गत मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय आज बस्तर जिले के ग्राम नारायणपाल पहुंचे। उन्होंने नारायणपाल के देवगुड़ी परिसर में आम के पेड़ के नीचे अपनी चौपाल लगाई और ग्रामीणों से जीवंत संवाद कर योजनाओं की जानकारी ली।मुख्यमंत्री ने ग्रामीणों से बिजली व्यवस्था, राशन वितरण, पीएम आवास योजना और महतारी वंदन योजना के साथ ही गांव में राशन कार्ड की स्थिति, राशन की उपलब्धता, शिक्षकों और पटवारियों की उपस्थिति जैसे बुनियादी मुद्दों पर भी जानकारी ली। ‘महतारी वंदन योजना’ की लाभार्थी श्रीमती सरिता कश्यप ने मुख्यमंत्री को बताया कि वे स्वयं सहायता समूह से जुड़ी हैं, महतारी वंदन से मिलने वाली राशि का उपयोग घरेलू खर्चों और बच्चों के इलाज में करती हैं। श्री जगमोहन कश्यप ने प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत मकान निर्माण पूरा होने की जानकारी दी।
श्रीमती ललिता बघेल ने बताया कि पहले उन्हें बेल मेटल का काम करने के लिए अपने गहने गिरवी रखने पड़ते थे। अब बिहान योजना के तहत उन्हें 15,000 रूपए की सहायता और बैंक से 1.5 लाख रूपए तक का ऋण मिल रहा है, जिससे उनका काम बेहतर तरीके से चल रहा है। श्रीमती पदमिनी ठाकुर ने बताया कि वे ऑर्गेनिक खाद और कीटनाशक दवाओं के निर्माण से जुड़ी हैं। स्व-सहायता समूह की महिलाओं ने इस मौके पर मुख्यमंत्री को फूड बास्केट भेंट किया।
मुख्यमंत्री श्री साय ने ग्रामीणों को संबोधित करते हुए कहा कि सभी जरूरतमंदों को आवास मिलेगा, ‘आवास प्लस’ में जिनका नाम है, उन्हें भी आवास दिया जाएगा। उन्होंने कहा कि ‘महतारी वंदन योजना’ में जिन महिलाओं का नाम नहीं जुड़ा है, उनके नाम भी जोड़े जाएंगे। उन्होंने बताया कि सरकार तकनीक के उपयोग से भ्रष्टाचार के सभी रास्ते बंद कर रही है। पंजीयन की नई प्रक्रिया से रजिस्ट्री के साथ नामांतरण की प्रक्रिया को सरल किया गया है। उन्होंने कहा कि 24 अप्रैल से 1460 ग्राम पंचायतों में अटल डिजिटल सेवा केंद्र शुरू किए गए हैं। जल्द ही इसका विस्तार सभी ग्राम पंचायतों में होगा।
अनेक विकास कार्यों की घोषणा
मुख्यमंत्री ने ग्रामीणों की मांग पर अनेक घोषणाएं की, जिनमें नारायणपाल माध्यमिक शाला भवन के लिए 20 लाख रूपए, प्राथमिक शाला मंदिरपारा के लिए 20 लाख रूपए, स्ट्रीट लाईट, हाई मास लाईट के लिए 15 लाख रूपए, व्यावसायिक परिसर हेतु 20 लाख रूपए, सी.सी. रोड 600 मी. (गोवर्धन भाटा से बोधघरा घर तक) 15 लाख रूपए, पुलिया 2 मी. स्पान 2 नग के लिए 12 लाख रुपए, सी.सी सड़क धरमु घर से नाव घाट तक 9 लाख रूपए, इस प्रकार कुल 1 करोड़ 11 लाख रूपए की लागत के कार्यों की घोषणा की।
नारायणपाल में मुख्यमंत्री ने कांगेर घाटी राष्ट्रीय उद्यान की वन समिति के 11 हितग्राहियों को वाहन का वितरण किया। इसमें कोटमसर, तीरथगढ़ और कामानार के वन समिति के हितग्राही शामिल थे। उन्होंने कक्षा 10वीं और कक्षा 12वीं के मेधावी छात्र छात्राओं को टैबलेट और किताबें देकर सम्मानित किया। इस अवसर पर सांसद श्री महेश कश्यप, मुख्यमंत्री के प्रमुख सचिव श्री सुबोध कुमार सिंह, मुख्यमंत्री के सचिव श्री बसवराजू एस सहित अनेक जनप्रतिनिधि और ग्रामीणजन उपस्थित थे। -
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मुख्यमंत्री ने नारायणपाल की देवगुड़ी में की पूजा-अर्चना, प्रदेशवासियों की खुशहाली की कामना
रायपुर : सुशासन तिहार के तीसरे चरण के अंतर्गत मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय आज बस्तर जिले के ग्राम नारायणपाल पहुंचे। इस अवसर पर उन्होंने नारायणपाल स्थित प्राचीन देवगुड़ी परिसर में पारंपरिक रीति-रिवाजों के साथ कंकालीन मां, मुसरिया माता एवं घाटी मुड़ीन तेल गिन माता के मंदिरों में विधिवत पूजा-अर्चना की।
मुख्यमंत्री ने प्रदेशवासियों के सुख, समृद्धि और खुशहाली की कामना की। देवगुड़ी में पूजा कर मुख्यमंत्री ने बस्तर की आस्था और सांस्कृतिक परंपराओं के प्रति सम्मान व्यक्त किया। उन्होंने कहा कि सरकार आदिवासी संस्कृति और जनभावनाओं के संरक्षण एवं संवर्धन के लिए पूरी प्रतिबद्धता से कार्य कर रही है।ग्रामीणों और स्थानीय जनप्रतिनिधियों ने मुख्यमंत्री का पारंपरिक तरीके से स्वागत किया। इस अवसर पर सांसद श्री महेश कश्यप जिला पंचायत अध्यक्ष श्री मति वेदवती कश्यप सहित क्षेत्र के जनप्रतिनिधि गण मुख्यमंत्री श्री प्रमुख सचिव श्री सुबोध कुमार सिंह और सचिव डॉ. बसव राजू एस उपस्थित रहे। -
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पुण्यश्लोक रानी अहिल्याबाई होलकर की 300वीं जयंती पर मुख्यमंत्री निवास में संगोष्ठी आयोजित
मध्यप्रदेश के पंचायत एवं ग्रामीण विकास मंत्री श्री प्रहलाद सिंह पटेल प्रमुख वक्ता के रूप में हुए शामिल
रायपुर : पुण्यश्लोक रानी अहिल्याबाई होल्कर की 300वीं जन्म जयंती पर आज राजधानी रायपुर में मुख्यमंत्री निवास में संगोष्ठी का आयोजन किया गया। मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय ने संगोष्ठी की अध्यक्षता की। मध्यप्रदेश सरकार के पंचायत एवं ग्रामीण विकास तथा श्रम मंत्री श्री प्रहलाद सिंह पटेल ने प्रमुख वक्ता के रूप में संगोष्ठी को संबोधित किया। केन्द्रीय आवासन और शहरी कार्य मंत्री श्री तोखन साहू और कृषि मंत्री श्री रामविचार नेताम भी संगोष्ठी में शामिल हुए। विभिन्न वर्गों के बुद्धिजीवी, समाज सेवी, डॉक्टर, इंजीनियर, आर्किटेक्ट, वकील और साहित्यकार भी बड़ी संख्या में संगोष्ठी में मौजूद थे।
मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय ने संगोष्ठी में राजमाता रानी अहिल्याबाई होल्कर के योगदानों को स्मरण करते हुए उन्हें भारत की सांस्कृतिक एकता और सुशासन का प्रतीक बताया। उन्होंने रानी अहिल्याबाई होल्कर के करीब 30 वर्षों के शासन को प्रजा कल्याण, राष्ट्र निर्माण और न्याय का स्वर्ण युग कहा। उन्होंने कहा कि इंदौर की महारानी होने के बावजूद राजमाता ने स्वयं को किसी एक भौगोलिक सीमा में नहीं बांधा। उन्होंने देशभर में मंदिरों और धर्मशालाओं का निर्माण कराया। उन्होंने रामराज्य की अवधारणा को साकार करते हुए तीन दशकों तक होल्कर राजवंश का नेतृत्व किया।
मुख्यमंत्री श्री साय ने काशी विश्वनाथ मंदिर के पुनर्निर्माण में रानी अहिल्याबाई होल्कर के योगदान को ऐतिहासिक बताया। पेशवा माधवराव की इच्छा के अनुरूप राजमाता ने इस मंदिर का पुनर्निर्माण कर करोड़ों आस्थावानों की भावना को सम्मान दिया। उन्होंने सोमनाथ मंदिर के पुनर्निर्माण का भी ऐतिहासिक निर्णय लिया, जो भारत की सांस्कृतिक पुनर्स्थापना का प्रतीक बना। श्री साय ने कहा कि आज इंदौर देश में स्वच्छता में अग्रणी है, इसके पीछे राजमाता द्वारा स्थापित गुड गवर्नेंस की प्रेरणा है। वे न्यायप्रिय थीं। उन्होंने अपने परिवार के सदस्यों को भी न्याय के लिए दंड देने से परहेज नहीं किया।
मध्यप्रदेश के पंचायत एवं ग्रामीण विकास मंत्री श्री प्रहलाद सिंह पटेल ने संगोष्ठी को प्रमुख वक्ता के रूप में संबोधित करते हुए कहा कि रानी अहिल्याबाई होल्कर ने 1767 से 1795 तक अपने 28 वर्षो के शासन काल में धर्मसत्ता और न्यायसत्ता की आवाज बुलंद की। उन्होंने अपने जीवन में तमाम विपत्तियों के बीच अनेक अनुकरणीय कार्य किए। उन्होंने अपने शासन काल में सार्वजनिक धन और राजकोष के सदुपयोग की मिसालें कायम की। राजसत्ता की कोई राशि कभी अपने लिए खर्च नहीं की। श्री पटेल ने कहा कि रानी अहिल्याबाई होल्कर अपने पति के निधन के बाद कभी राजमहल में नहीं रहीं। झोपड़ी में अपना जीवन बिताया। न्याय के लिए उन्होंने अपने पुत्र को मृत्युदंड की सजा सुनाई थी। उन्होंने अपने शासन में विधवाओं को दत्तक पुत्र लेने की अनुमति प्रदान की। रानी अहिल्याबाई होल्कर के प्रजाहितैषी और कल्याणकारी कार्यों के कारण उनके राज्य के लोगों ने उन्हें लोकमाता का दर्जा दिया था।
विधायक श्री किरण देव और छत्तीसगढ़ विधानसभा के पूर्व उपाध्यक्ष श्री नारायण चंदेल ने भी संगोष्ठी में रानी अहिल्याबाई होल्कर के व्यक्तित्व, कार्यों और उनके शासन काल की विशेषताओं को रेखांकित किया। उन्होंने कहा कि रानी अहिल्याबाई होल्कर ने अपने सुशासन, न्यायप्रियता एवं लोक कल्याणकारी कार्यों के माध्यम से भारतीय इतिहास में अमिट छाप छोड़ी है। संगोष्ठी के माध्यम से आज हम उनके विचारों का स्मरण कर रहे हैं। उनके कार्य हमें सामाजिक समरसता और जनसेवा के लिए प्रेरित करते हैं। यह संगोष्ठी आज की पीढ़ी को राष्ट्र निर्माण में योगदान देने के लिए प्रोत्साहित करेगी।
संगोष्ठी में धनकर समाज के पदाधिकारियों ने मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय को रानी अहिल्याबाई होल्कर का तैलचित्र भेंट किया। विधायकगण सर्वश्री सुनील सोनी, मोतीलाल साहू और पुरंदर मिश्रा, राज्य युवा आयोग के अध्यक्ष श्री विश्व विजय सिंह तोमर, रायपुर नगर निगम की महापौर श्रीमती मीनल चौबे, पूर्व मंत्री श्री प्रेमप्रकाश पाण्डेय, सीएसआईडीसी के पूर्व अध्यश्र श्री छगन मूंदड़ा और श्री शंकर अग्रवाल सहित कई निगमों, मंडलों, आयोगों के पदाधिकारी और युवा बड़ी संख्या में संगोष्ठी में उपस्थित थे। -
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गरीब परिवारों को पक्का मकान देकर प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी के संकल्प को कर रहे हैं पूरा: मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय
भैंसा में प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र, सहित विभिन्न विकास कार्यों के लिए दी साढे़ 3 करोड़ की सौगात
भैंसा में नवीन पुलिस चौकी खोलने की घोषणा
मुख्यमंत्री ने 110 हितग्राहियों को सौंपी पीएम आवास की चाबी
मुख्यमंत्री भैंसा में आयोजित सुशासन तिहार में ग्रामीणों से हुए रूबरू
रायपुर : मुख्यमंत्री श्री विष्णुदेव साय ने आज रायपुर जिले के ग्राम भैंसा में आयोजित सुशासन शिविर में शामिल हुए। उन्होंने इस मौके पर देश भर में प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में 29 मई से 12 जून तक चलने वाले विकसित कृषि संकल्प अभियान के लिए जागरूकता रथ को हरी झंडी दिखाकर शुभारंभ किया। उन्होंने शिविर में प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत् निर्मित 110 पक्के मकानों की चाबी हितग्राहियों को सौंपा।
मुख्यमंत्री श्री साय ने कहा कि विकसित कृषि संकल्प अभियान की शुरुवात हो रही है। इस अभियान में केंद्र सरकार के वैज्ञानिक भी आएंगे और राज्य के वैज्ञानिकों के साथ दल बनाकर कार्य करेंगे। राज्य के 13 लाख से अधिक किसानों से आने वाले दिनों में सम्पर्क कर हम राज्य में कृषि विकास हेतु कार्य करेंगे। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी के आव्हान पर कृषि वैज्ञानिक और शोधकर्ता प्रयोग शाला से खेत तक जाकर उन्नत एवं संतुलित कृषि के संबंध में किसानों को जागरूक करेंगे तथा किसानों से भी सुझाव लेंगे।
मुख्यमंत्री श्री साय ने सुशासन शिविर को संबोधित करते हुए कहा कि प्रधानमंत्री का संकल्प है कि देश के हर गरीब के पास पक्का मकान होना चाहिए। हमारी सरकार यशस्वी प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी के संकल्प को पूरा करने राज्य के मकान विहीन वाले एवं गरीब परिवारों को 18 लाख से अधिक प्रधानमंत्री आवास की स्वीकृति प्रदान की है। लाखों लोगों को उनके पक्के आवास मिल चुके हैं। साथ ही शेष बचे हुए मकानों का निर्माण जारी है, उन्होंने कहा कि आवास प्लस प्लस में सब बचे हुए पात्र लोगों को भी जोड़ा जाएगा। उन्होंने कहा कि राज्य में 70 लाख से ज्यादा बहनों के खातों में महतारी वंदन योजना के तहत् प्रतिमाह 1 हजार रूपए की राशि अंतरित किए जा रहे हैं। जिनका नाम नही जुड़ा, उनके लिए भी जल्द ही योजना में नाम जोड़ने का काम शुरू किया जाएगा।
हितग्राहियों से लिया फीडबैक
मुख्यमंत्री साय ने समाधान शिविर में हितग्राहियों से चर्चा कर योजनाओं के फीडबैक लिए। हितग्राही श्री चमार सिंह पटेल ने मुख्यमंत्री को बताया कि गिरते हुए जल स्तर को ध्यान में रखते हुए धान की खेती के अलावा उद्यानिकी और कम पानी खर्च और अधिक आमदनी वाले फसलों को बढ़ावा देना चाहिए। उन्होंने जैविक कृषि के लिए भी किसानों से अपील की। श्रीमती चंदन ने महतारी वंदन योजना शुरू करने के लिए मुख्यमंत्री का धन्यवाद दिया उन्होंने कहा कि वे इस योजना के पैसे का उपयोग बच्चों की पढ़ाई के साथ ही अन्य जरूरत पर करते हैं।
मुख्यमंत्री की घोषणाएं
मुख्यमंत्री श्री साय ने समाधान शिविर में क्षेत्र के विकास के लिए लगभग साढ़े 3 करोड़ रूपए के विभिन्न विकास कार्यों की घोषणा की। इनमें ग्राम भैसा में प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र के लिए 75 लाख रूपए, हाईस्कूल भवन निर्माण के लिए 75 लाख 23 हजार रूपए पानी टँकी एवं पाइप लाइन विस्तार हेतु 55 लाख, हायर सेकेंडरी स्कूल के लिए 50 लाख रूपए, अहाता एवं शेड निर्माण के लिए 20 लाख रूपए, ग्राम अमोड़ी में पाइप लाइन विस्तार के लिए 42 लाख रूपए, हायर सेकंेडरी स्कूल में तीन अतिरिक्त कक्ष निर्माण के लिए 24 लाख रूपए देने की घोषणा की। उन्होंने इस मौके पर भैंसा में नवीन नवीन पुलिस चौकी खोलने की भी घोषणा की। मुख्यमंत्री ने शिविर में कृषि पत्रिका का भी विमोचन किया। समाधान शिविर में कृषि विभाग के योजनाओं के तहत् हितग्राहियों का कृषि उपकरणों हेतु अनुदान चेक, दिव्यांगजनों को ट्राइसाइकल, किसान क्रेडिट कार्ड भी प्रदान किए।
कार्यक्रम में केंद्रीय राज्य मंत्री श्री तोखन साहू और कृषि मंत्री श्री रामविचार नेताम ने कार्यक्रम को संबोधित करते हुए रिसर्च सिर्फ लैब तक न रहे, लैब से निकलकर वैज्ञानिक गांव-गांव तक जाए और किसानों तक जानकारी पहुंचाने पर जोर दिया। यहां केंद्र सरकार के 100 वैज्ञानिक आएंगे, साथ ही यहां के वैज्ञानिक और विभिन्न विभागों के अधिकारी हर दिन 2-2 कैंप करेंगे और किसान को उन्नत और संतुलित खेती के संबंध में जानकारी देंगे। उन्होंने राज्य के किसानों को अपील करते हुए कहा कि इस अभियान में ज्यादा से ज्यादा किसान शामिल हो। कौन सी खेत में क्या फलस लेना है कितनी खाद-बीज और दवाई की जरूरत है के संबंध में चर्चा करें और कृषि को उन्नत बनाएं। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी का सोच है कि हमारे किसान जितने मजबूत होंगे, उतना देश शक्तिशाली और मजबूत होगा। कार्यक्रम को स्थानीय विधायक गुरू खुशवंत साहेब ने भी संबोधित किया और क्षेत्र में विभिन्न विकास कार्यों के लिए मुख्यमंत्री के समक्ष् अपनी मांग रखी।
समाधान शिविर में कलेक्टर रायपुर श्री गौरव सिंह ने बताया कि जिले में प्रथम चरण में 2,98,635 आवेदन प्राप्त हुए तथा शिविरों के माध्यम से 12,003 आवेदन मिले इनमें मांग 2,89,968 और शिकायतों के 8641 प्राप्त हुए। सभी आवेदनों का निराकरण कर लिया गया है। मात्र शिकायतों के 26 प्रकरण लंबित है। उन्होंने बताया कि समाधान शिविरों में लर्निंग लाइसेंस बनाने के लिए भी शिविर लगाए गए थे। इन शिविरों में 5000 से अधिक लर्निंग लाइसेंस बनाए गए हैं।
इस अवसर पर राजस्व मंत्री श्री टंक राम वर्मा, छत्तीसगढ़ बीज एवं कृषि विकास निगम के अध्यक्ष श्री चंद्रहास चंद्राकर, किसान कल्याण परिषद के अध्यक्ष श्री सुरेश चंद्रवंशी, कृषि उत्पादन आयुक्त एवं सचिव श्रीमती सहला निगार, रायपुर संभाग के आयुक्त श्री महादेव कावरे, एस.एस.पी श्री लाल उमेद सिंह, जिला पंचायत रायपुर के मुख्य कार्यपालन अधिकारी श्री कुमार विश्वरंजन और नगर निगम के आयुक्त श्री विश्वदीप सहित बड़ी संख्या में स्थानीय जनप्रतिनिधि और ग्रामीणजन उपस्थित थे। -
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ग्रामीणों से आत्मीयता के साथ किया संवाद, हितग्राहियों से की चर्चा
मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय ने 3.90 करोड़ की घोषणा
रायपुर : सुशासन तिहार के अंतिम चरण के अंतर्गत आज मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय का हेलीकॉप्टर कांकेर (उत्तर बस्तर) जिले के ग्राम मांदरी में उतरा। उन्होंने पंचायत शेड के नीचे अपनी चौपाल लगाई और ग्रामीणों से संवाद कर योजनाओं पर फीडबैक लिया।
मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय ने ग्रामीणों की मांग पर मांदरी में हाई स्कूल बाउंड्रीवाल निर्माण हेतु 20 लाख की स्वीकृति, मांदरी आंगनबाड़ी केंद्र भवन में बाउंड्रीवाल के लिए 5 लाख की स्वीकृति, साल्हेभांट मुख्य मार्ग से टीरउ सलाम के घर तक सीसी सड़क निर्माण 600 मीटर हेतु 15 लाख की स्वीकृति, झुरा नाला से खेतों में सिंचाई के लिए लाइन विस्तार हेतु 3.50 करोड़ की स्वीकृति की घोषणा की।
मुख्यमंत्री श्री साय ने ग्रामीणों से चर्चा करते हुए कहा कि हमने बीते डेढ़ वर्षों में जनता के हित में कार्य किया है। सुशासन तिहार हमारा रिपोर्ट कार्ड भी है और सरकार द्वारा किए गए कार्यों का मूल्यांकन करने का अवसर भी। इसके माध्यम से हम जनकल्याणकारी योजनाओं के धरातल पर क्रियान्वयन की स्थिति जान रहे हैं। हमारे अलावा मंत्री, सांसद, विधायक, मुख्य सचिव, प्रमुख सचिव सहित अन्य वरिष्ठ अधिकारी भी सुशासन तिहार में शामिल हो रहे हैं।
मुख्यमंत्री श्री साय ने ग्रामीणों को संबोधित करते हुए कहा कि सरकार ने शपथ लेते ही प्रधानमंत्री मोदी की गारंटी के तहत कैबिनेट में 18 लाख प्रधानमंत्री आवास स्वीकृत किए। मुख्यमंत्री ने कहा कि सभी जरूरतमंदों को आवास मिलेगा, ‘आवास प्लस’ में जिनका नाम है, उन्हें भी आवास दिया जाएगा। मुख्यमंत्री श्री साय ने कहा कि 70 लाख से अधिक महिलाओं को ‘महतारी वंदन योजना’ की राशि सीधे उनके खातों में देकर आर्थिक समृद्धि और महिला सशक्तिकरण का द्वार खोला गया है। जो लाभार्थी अभी वंचित हैं, उन्हें भी जोड़ा जाएगा।
मुख्यमंत्री ने बताया कि 24 अप्रैल से ग्राम पंचायतों में अटल डिजिटल सेवा केंद्र शुरू किए गए हैं। इससे ग्रामीणों को गांव में ही बैंकिंग व अन्य सेवाओं की सुविधा मिलेगी। अभी यह सेवा 1460 पंचायतों में शुरू की गई है। मुख्यमंत्री श्री साय ने कहा कि सरकार तकनीक के उपयोग से भ्रष्टाचार के सभी रास्ते बंद कर रही है। पंजीयन की नई प्रक्रिया से रजिस्ट्री के साथ नामांतरण की प्रक्रिया को सरल किया गया है।
जानी योजनाओं की हकीकतग्राम मांदरी में अचानक पहुंचे मुख्यमंत्री श्री साय ने ग्रामीणों से छत्तीसगढ़ी में संवाद किया। मुख्यमंत्री ने बिजली व्यवस्था, राशन वितरण और महतारी वंदन योजना की राशि के संबंध में हितग्राहियों से जानकारी ली। इस अवसर पर हितग्राही इतवारिन आचला ने बताया कि महतारी वंदन योजना की प्राप्त राशि का बेटी के नाम पर सुकन्या समृद्धि योजना में खाता खुलवाकर राशि जमा कर रही है। मुख्यमंत्री श्री साय ने ग्रामीणों को आश्वस्त किया कि सरकार हर जरूरतमंद के साथ खड़ी है, और जनकल्याण ही सरकार की सर्वाेच्च प्राथमिकता है।
इस अवसर पर विधायक कांकेर श्री आशा राम नेताम, जिला पंचायत अध्यक्ष श्रीमती किरण नूरेटी, मुख्यमंत्री के प्रमुख सचिव श्री सुबोध सिंह, मुख्यमंत्री के सचिव डॉ बसव राजु एस., कमिश्नर बस्तर श्री डोमन सिंह, डीआईजी श्री अमित कामले, कलेक्टर श्री नीलेश क्षीरसागर, पुलिस अधीक्षक श्री इंद्र कल्याण एलेसेला सहित अन्य जनप्रतिनिधि, अधिकारीगण उपस्थित थे। मुख्यमंत्री ने कार्यक्रम में युवाओं प्रतियोगिता परीक्षा के तैयारी हेतु जिला प्रशासन द्वारा तैयार की पुस्तक “नई दिशा” का विमोचन कर युवाओं को वितरित किया। साथ ही विभिन्न विभागों के जन कल्याणकारी योजनाओं के हितग्राहियों को सामग्री, आवास की चाबी, ट्राई साइकिल आदि वितरित की ।