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एजेंसीबिहार/छपरा: बिहार के छपरा जिले के तरैया थाना क्षेत्र में इंसानियत को शर्मसार कर देने वाला मामला सामने आया है, जहां एक वीडियो वायरल हो रहा है। वायरल हो रहा वीडियो गैंगरेप का है। जिसमें सात युवक एक नाबालिग लड़की के साथ गैंगरेप कर रहे हैं। गैंगरेप के इस मामले में तीन नामजद और 4 अज्ञात लोगों के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज की गई है। प्राप्त जानकारी के मुताबिक लड़की अपनी मां के लिए दवा लेने गई थी।
मां के लिए दवा लेकर आ रही थी पीड़ितादवा लेने के बाद लौटते वक्त आरोपितों ने उसे अगवा किया फिर सुनसान जगह ले जाकर 7 लोगों ने मिलकर उसके साथ गैंगरेप किया। वारदात के दौरान आरोपितों ने वीडियो भी बना दिया फिर उसे वायरल कर दिया। घटना 17 जुलाई की बताई जा रही है। लेकिन लड़की ने डर के चलते किसी को नहीं बताया था। हालांकि 22 जुलाई को पीड़िता ने घटना के बारे में बता दिया। इसके बाद परिजनों ने थाने में आवेदन दिया और 23 जुलाई को प्राथमिकी दर्ज कर ली गई है।
सात लोगों के खिलाफ दर्ज हुआ मामलाजब मामला सामने आया तो छपिया गांव के रहने वाले तीन लोगों के खिलाफ नामजद और चार अज्ञात आरोपितों को बताते हुए मामला दर्ज कराया। नाबालिग पीड़िता ने शिकायत में बताया कि वह बाजार से अपनी मां की दवा लेकर पैदल घर जा रही थी। जैसे ही वो बैताल बाबा पीपल के पास पहुंची तो दो मोटरसाइकिल पर सवार चार लोग पास से गुजर गए। फिर कुछ देर बाद वह चारों वापस आए और घेर लिया।
अगवा कर सात लोगों ने किया गैंगरेपइसके बाद गमछा से मेरा मुंह दबाकर मोटरसाखिल पर बिठा लिया। इस दौरान वह काफी जोर-जोर से चिल्लाने लगी। लेकिन मुझे चिमनी के रास्ते अनजान जगह पर लेकर गए और वहां पर सभी ने उसके साथ बारी-बारी से रेप किया। पीड़िता ने आरोप लगाया है कि आरोपितों में से ही किसी एक ने घटना का वीडियो बना लिया
फेसबुक पर डाल दिया वीडियोफिर फेसबुक पर वायरल कर दिया। घटना के जानकारी पर विधायक मुंद्रिका राय ने पीड़ित के परिजनों से मिलकर दोषियों पर जल्द से जल्द कार्रवाई कराने का आश्वासन दिया। एसपी हर किशोर राय ने बताया कि पुलिस आरोपियों को जल्द गिरफ्तार कर लेगी। -
एजेंसीप्रयागराज: अयोध्या में राम मंदिर निर्माण के लिए 5 अगस्त को प्रस्तावित भूमि पूजन पर रोक लगाने की मांग को लेकर इलाहाबाद हाई कोर्ट में अर्जी दाखिल की गई है. हाईकोर्ट में दिल्ली के एक पत्रकार ने भूमि पूजन पर रोक लगाने की याचिका दायर की है. याचिका में राम मंदिर भूमि पूजन को अनलॉक 2 की गाइडलाइन का उल्लंघन बताया है.दिल्ली के पत्रकार साकेत गोखले ने हाईकोर्ट के चीफ जस्टिस को लेटर पीआईएल के माध्यम से यह याचिका लगाई है. गोखले द्वारा दाखिल पीआईएल ते तहत भूमि पूजन कोविड-19 के अनलॉक-2 गाइडलाइन का उल्लंघन है.याचिका में कहा गया- कार्यक्रम से कोरोना संक्रमण फैलने का खतरा बढ़ेगायाचिका में कहा गया है कि अयोध्या में भूमि पूजन के दौरान तीन सौ लोग इकट्ठा होंगे जो कि कोविड के नियमों के खिलाफ होगा. आपको बता दें कि लेटर पीटीशन के जरिये भूमि पूजन कार्यक्रम पर रोक लगाये जाने की मांग की है. जनहित याचिका में यह भी कहा गया है कि इस कार्यक्रम से कोरोना संक्रमण फैलने का खतरा बढ़ेगा. यही नहीं पीडिशन में आगे कहा गया है कि यूपी सरकार केंद्र की गाइडलाइन में छूट नहीं दे सकती.अगर लेटर पिटीशन मंजूर हुई तो चीफ जस्टिस द्वारा नामित बेंच इस मामले में सुनवाई करेगी. याचिका में राम मंदिर ट्रस्ट के साथ ही केंद्र सरकार को भी पक्षकार बनाया गया है.याचिका में बकरीद पर सामूहिक नमाज की इजाजत का जिक्र
अपनी याचिका में गोखले ने उस आदेश का भी जिक्र किया जिसके तहत बकरीद पर सामूहिक नमाज की इजाजत नहीं दी गई ताकि कोरोना न फैल सके. आपको बता दें कि पत्रकार साकेत गोखले विदेशों में कई अखबार में काम कर चुके हैं, और साथ ही सोशल एक्टिविस्ट भी हैं.राम मंदिर के भूमि पूजन मुहूर्त पर विवाद
अयोध्या में राम मन्दिर निर्माण के लिए 5 अगस्त को होने वाले भूमि पूजन के मुहूर्त को लेकर विवाद शुरू हो गया है. प्रयागराज के ज्योतिषाचार्य आचार्य अविनाश राय ने 5 अगस्त को शुभ मुहूर्त नहीं होने की बात कही है. उन्होंने कहा है कि इस वक्त भूमि पूजन करना कतई उचित नहीं होगा. चातुर्मास में देवालय का भूमि पूजन और शिलान्यास वैसे भी नहीं किया जाना चाहिए. ज्योतिषाचार्य के मुताबिक 5 अगस्त को ग्रहों और नक्षत्रों की स्थिति भी शुभ योग नहीं बना रही है. इस मुहूर्त में भूमि पूजन से निर्माण में कई तरह की बाधाएं पैदा हो सकती हैं.शंकराचार्य स्वामी स्वरूपानंद सरस्वती के शिष्य स्वामी अविमुक्तेश्वरानंद सरस्वती ने भी अपने फेसबुक पेज पर पोस्ट कर मंदिर के शिलान्यास की तय तिथि यानि 5 अगस्त को अशुभ बताया है. अयोध्या में रामलला के भव्य मंदिर निर्माण का भूमि पूजन 5 अगस्त को होना है. भूमि पूजन में पीएम नरेंद्र मोदी और यूपी के सीएम योगी आदित्यनाथ समेत कुछ खास लोगों को बुलाया गया है. भूमि पूजन का कार्यक्रम काशी काशी के विद्वानों और आचार्यों की देखरेख में होगा. -
मुख्यमंत्री ने 15 दिन में भुगतान करने के दिए निर्देश: बैंक खाते में सीधे अंतरित की जाएगी राशि
पीपीपी माडल पर कोल्ड स्टोरेज नेटवर्क विकसित करने के निर्देश
आयुर्वेदिक कम्पनियों को छत्तीसगढ़ में प्रोसेसिंग यूनिट लगाने करें प्रोत्साहित
रायपुर : प्रदेश में गोधन न्याय योजना के तहत गोबर विक्रेताओं को 15 दिन में गोबर खरीदी की राशि मिलेगी। मुख्यमंत्री श्री भूपेश बघेल ने आज यहां अपने निवास कार्यालय में आयोजित बैठक में वन विभाग के कार्याें की समीक्षा के दौरान अधिकारियों से कहा कि गोधन न्याय योजना की शुरूआत 20 जुलाई को गोबर खरीदी शुरू कर की गई थी। इसके लिए 15वें दिन 5 अगस्त को गोबर विक्रेताओं को राशि का भुगतान किया जाएगा।उन्होंने मुख्य सचिव को सहकारी और ग्रामीण बैंकों सहित अन्य बैंकों के अधिकारियों की बैठक आयोजित कर इसके लिए सभी तैयारियां सुनिश्चित करने के निर्देश दिए। गोबर विक्रेताओं से क्रय किए गोबर की राशि उनके खाते में सीधे अंतरित की जाएगी।मुख्यमंत्री ने गौठानों में गोबर खरीदी का समय निर्धारित करने के निर्देश भी दिए। उन्होंने यह भी कहा कि गौठानों में वेटनरी डॉक्टरों और गौ-सेवकों के भ्रमण के कार्यक्रम भी तय किए जाए और लोगों की जानकारी के लिए गौठानों के सूचना पटल में प्रदर्शित किए जाए। श्री बघेल ने गौठानों और चारागाहों की देखभाल के लिए ग्रामीण कृषि विस्तार अधिकारियों को जिम्मेदारी सौंपी जाए। उन्होंने कहा कि अन्य राज्यों से बस्तर लौटे युवाओं को वनोपज संग्रहण, पंचायत एवं ग्रामीण विकास विभाग के कार्याें में और गोधन न्याय योजना में जोड़कर अधिक से अधिक रोजगार के अवसर उपलब्ध कराए जाए। उन्होंने कहा कि कलेक्टर और डीएफओ बैठक कर युवाओं को रोजगार से जोड़ने के लिए कार्य योजना तैयार करे।मुख्यमंत्री ने कहा कि लघु वनोपजों की मार्केटिंग व्यवस्था पर विशेष रूप ध्यान दिया जाए। वनोपजों के बड़ी मात्रा में उपयोग करने वाली कम्पनियों से अनुबंध कर उनकी जरूरत की गुणवत्ता की वनोपजों और वनोषधियों को प्रसंस्करण करने के बाद कम्पनियों को उपलब्ध कराया जाए, जिसे कम्पनियां अपने उत्पादों में उपयोग कर सकेंगी। इससे संग्रहण कर्ताओं को वनोपज के समर्थन मूल्य के अलावा प्रसंस्करण से होने वाले लाभ का अंश भी मिलेगा। कम्पनियों के नेटवर्क के माध्यम से छत्तीसगढ़ में पैदा होने वाली वनोपजों के लिए बड़ा मार्केट मिल सकेगा।मुख्यमंत्री ने यह भी कहा कि आयुर्वेदिक कम्पनियों को छत्तीसगढ़ में ही प्रोसेसिंग प्लांट स्थापित करने के लिए प्रोत्साहित किया जाए। मुख्यमंत्री ने कृषि, उद्यानिकी और वनों में उत्पादित फसलों को सुरक्षित रखने के लिए पूरे प्रदेश में कोल्ड स्टोरेज नेटवर्क स्थापित करने पर भी जोर दिया। उन्होंने कहा कि कृषि और उद्यानिकी विभाग पी.पी.पी. माडल पर कोल्ड स्टोरेजों का संचालन कराए। बैठक में कृषि एवं जल संसाधन मंत्री श्री रविंद्र चौबे, वनमंत्री श्री मोहम्मद अकबर, नगरीय प्रशासन मंत्री डॉ. शिव कुमार डहरिया, स्कूल शिक्षा मंत्री डॉ. प्रेमसाय सिंह टेकाम, वीडियो कांफ्रेंसिंग के जरिए अम्बिकापुर से स्वास्थ्य मंत्री श्री टी. एस. सिंहदेव शामिल हुए।बैठक में संसदीय सचिव श्री शिशुपाल सोरी और श्री चंद्रदेव प्रसाद राय, मुख्यमंत्री के सलाहकार सर्वश्री राजेश तिवारी, विनोद वर्मा, श्री प्रदीप शर्मा और श्री रुचिर गर्ग, मुख्य सचिव श्री आर. पी. मंडल, वन विभाग के प्रमुख सचिव श्री मनोज पिंगुआ, पंचायत एवं ग्रामीण विकास के प्रमुख सचिव श्री गौरव द्विवेदी, कृषि उत्पादन आयुक्त डॉ. एम. गीता, नगरीय प्रशासन विभाग की सचिव श्रीमती अलरमेल मंगई डी, आदिम जाति कल्याण विभाग के सचिव श्री डी. डी. सिंह, मुख्यमंत्री के सचिव श्री सिद्धार्थ कोमल परदेशी, प्रधान मुख्य वन संरक्षक श्री राकेश चतुर्वेदी उपस्थित थे। -
नई दिल्ली : रक्षा मंत्रालय ने गुरुवार को भारतीय सेना में महिलाओं के स्थायी कमीशन को आधिकारिक तौर पर मंजूरी दे दी है। सरकार ने गुरुवार को इस संबंध में स्वीकृति पत्र जार कर दिया है जिसके बाद सेना में विभिन्न शीर्ष पदों पर महिलाओं की तैनाती हो पाएगी। इस मंजूरी के बाद अब आर्मी एअर डिफेंस, सिग्नल, इंजीनियर, आर्मी एविएशन, इलेक्ट्रॉनिक्स, मैकेनिकल इंजीनियरिंग, आर्मी सर्विस कॉर्प्स, आर्मी ऑर्डिनेंस कॉर्प्स और इंटेलिजेंस कॉर्प्स में महिलाओं को स्थायी कमीशन मिल पाएगा।
इसके साथ-साथ जज एंड एडवोकेट जनरल, आर्मी एजुकेशनल कॉर्प्स में भी महिलाओं को स्थायी कमीशन दिया जाएगा। सेना में महिलाओं के स्थायी कमीशन के लिए स्थायी चयन बोर्ड के संचालन के लिए प्रारंभिक तैयारी की एक सीरीज निर्धारित की है।
इसके साथ-साथ सेलेक्शन बोर्ड की ओर से सभी एसएससी महिलाओं की ओर से ऑप्शन और सभी कागजी कार्रवाई पूरी होने पर एक्शन शुरू किया जाएगा। इस संबंध में सेना की ओर से कहा गया है कि भारतीय सेना महिला अधिकारियों सहित सभी कर्मियों को राष्ट्र की सेवा के समान अवसर प्रदान करने के लिए प्रतिबद्ध है।
पुरुषों को ही था अधिकार
अभी तक आर्मी में 14 साल तक शॉर्ट सर्विस कमीशन (एसएससी) में सेवा दे चुके पुरुष सैनिकों को ही स्थायी कमीशन का विकल्प मिल रहा था, लेकिन महिलाओं को यह हक नहीं था। सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद अब सेना में महिलाओं को पुरुष अफसरों से बराबरी का अधिकार मिला, जिसे अब रक्षा मंत्रालय की मजूरी मिली है। वायुसेना और नौसेना में महिला अफसरों को पहले से ही स्थायी कमीशन मिल रहा है।
केंद्र की दलील हुई थी खारिज
इस मामले पर सुनवाई करते हुए जजों की पीठ ने यह भी कहा था कि महिलाओं की शारीरिक विशेषताओं का उनके अधिकारों से कोई सम्बन्ध नहीं है और इस तरह की सोच को बढ़ाने वाली मानसिकता अब बदलनी चाहिए। इस मामले में 2010 में ही दिल्ली उच्च न्यायालय ने फैसला दिया था कि शार्ट सर्विस कमीशन के जरिए सेना में भर्ती हुई महिलाएं भी पुरुषों की तरह स्थायी कमीशन की हकदार हैं। सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई के समय केंद्र केंद्र का कहना था कि सेना में यूनिट सिर्फ पुरुषों की है और पुरुष सैनिक महिला अधिकारियों को स्वीकार नहीं कर पाएंगे, जिसे अदालत ने खारिज कर दिया था। -
एजेंसी
नई दिल्ली : देश में कोरोना वायरस महामारी और बाढ़ की स्थिति को देखते हुए भारतीय चुनाव आयोग ने विभिन्न राज्यों में होने वाले लोकसभा और विधानसभा के उपचुनाव रद्द कर दिए हैं। कई राज्यों में सात सितंबर तक ये उपचुनाव होने थे और मगर देश बाढ़ और कोरोना की स्थिति को देखते हुए इन्हें फिलहाल रद्द कर दिया गया है। गुरुवार (23 जुलाई, 2020) को चुनाव आयोग बयान जारी कर कहा कि जैसे ही देश में हालात सामान्य होंगे उपचुनाव कराए जाएंगे।
उल्लेखनीय है कि भारी बारिश के चलते आई बाढ़ और भूस्खलन से असम बुरी तरह प्रभावित है। राज्य में पिछले चौबीस घंटे में हालात और भी ज्यादा बिगड़े हैं और दो अन्य लोगों की मौत हो गई। असम राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण (एएसडीएमए) के मुताबिक प्रदेश में 26 जिले बाढ़ से बुरी तरह प्रभावित हैं और प्रभावितों की संख्या बढ़कर अब 26 लाख का आंकड़ा पार कर गई है।
अब तक राज्य में बाढ़ और भूस्खलन से 115 लोगों की जान जा चुकी है जिनमें 89 लोग बाढ़ से संबंधित घटनाओं में मारे गए, वहीं 26 ने भूस्खलन में जान गंवा दी। प्राधिकरण ने कहा कि धेमाजी, लखीमपुर, बिस्वनाथ, दर्रांग, बकसा, नलबारी, बारपेटा, चिरांग, बोंगईगांव, कोकराझार, धुबरी, दक्षिण सलमारा, गोलपाड़ा, कामरूप, कामरूप महानगर, मोरीगांव, नगांव, होजई, गोलाघाट, जोरहट, माजुली, शिवसागर, डिब्रूगढ़, तिनसुकिया, पश्चिम कार्बी आंगलोंग और कछार जिलों में 26.31 लाख से अधिक लोग प्रभावित हुए हैं।
इधर कोरोना वायरस के चलते देश में स्थिति प्रतिदिन खराब होती जा रही है। भारत में पिछले चौबीस घंटे में रिकॉर्ड 45,720 नए मामले सामने आने के बाद आज संक्रमितों की कुल संख्या देश में 12 लाख का आंकड़ा पार कर गई। वहीं एक दिन में रिकॉर्ड 1,129 और लोगों की मौत के बाद मृतक संख्या बढ़कर 29,861 हो गई।
केन्द्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय के अनुसार देश में तीन दिन के अंदर ही कोविड-19 के मामले 11 लाख से 12 लाख के पार पहुंच गए हैं। मंत्रालय ने बताया कि देश में अब केविड-19 के 12,38,635 मामले हैं, जिनमें से 7,82,606 लोग संक्रमण मुक्त हो चुके हैं। देश में अभी 4,26,167 लोगों का कोरोना वायरस का इलाज चल रहा है। -
रांचीः कोरोना संकटकाल के दौरान जहां सरकारें अलग-अलग नियमों के जरिए लोगों को इस महामारी से बचाने की कोशिश कर रही हैं वहीं कई राज्यों में कड़े नियम बनाए गए हैं. अब इसी कड़ी में झारखंड को लेकर बड़ी खबर आई है. झारखंड में मास्क न पहनने पर 1 लाख रुपये का जुर्माना लग सकता है और 2 साल की जेल भी हो सकती है.
झारखंड कैबिनेट ने संक्रामक रोग अध्यादेश 2020 आंशिक रूप से पास कर दिया है जिसके तहत ये नियम लागू किया गया है. झारखंड में भी कोरोना से संक्रमित मरीजों का आंकड़ा तेजी से बढ़ता जा रहा है जिसे देखते हुए राज्य की हेमंत सोरेन सरकार ने ये फैसला लिया है.
फैसले पर एबीपी न्यूज़ से बात करते हुए झारखंड के स्वास्थ्य मंत्री बन्ना गुप्ता ने कहा, ''अभी अध्यादेश पूर्ण रूप से पारित नहीं हुआ है. जो जुर्माने की बात है वो किसी पर मुकदमा होने पर दोषी पाए जाने के बाद एक लाख का जुर्माना देना होगा. ऐसा नहीं है कि किसी को स्पॉट चेकिंग में पकड़ने जाने पर एक लाख का जुर्माना देना होगा. हमारी सरकार पूरी जागरुकता के साथ कोरोना के खिलाफ महिम चला रही है.''
झारखंड में कोरोना के कुल मामले बढ़कर 6485 हो गए हैं जिसमें 3397 एक्टिव केस हैं. हांलांकि 3024 मरीज ठीक भी हो चुके हैं लेकिन 64 लोग यहां इस महामारी की वजह से अपनी जान गंवा बैठे हैं.
कोरोना गाइडलाइंस का उल्लंघन करना लोगों के लिए भारी पड़ेगा और जैसा कि स्वास्थ्य मंत्री ने कहा कि दोषी पाए जाने पर दो साल की जेल भी हो सकती है. इसके अलावा ऐसी खबरें भी आई हैं कि झारखंड में कोरोना मरीजों की बढ़ती संख्या के चलते अस्पतालों में अब मरीजों के लिए जगह नहीं है लिहाजा सरकार और सख्ती से कोरोना के नियमों का पालन कराना चाहती है. -
बिहार : कोरोना के कारण बिहार बेहाल है. मरीजों को बेड नहीं मिल पा रहा है, जिनको बेड मिल गया, वो स्वास्थ्य सुविधाओं के लिए तड़प रहे हैं. इस बीच पटना एम्स की 400 कॉन्ट्रैक्चुअल नर्सें हड़ताल पर चली गई हैं. पटना एम्स बिहार का इकलौता केंद्रीय हॉस्पिटल है, जहां कई वीवीआईपी कोरोना मरीजों का इलाज चल रहा है.
हड़ताल पर गईं नर्सों ने अपनी नौकरी की सुरक्षा, वेतन को बढ़ाने, हेल्थ इंश्योरेंस, स्थायी कर्मचारियों की तरह छुट्टी समेत कई मांग की है. एम्स प्रशासन का कहना है कि हमने कुछ मांगों को मान लिया है. हालांकि अभी भी नर्सों की हड़ताल जारी है. इसका खामियाजा मरीजों को उठाना पड़ रहा है.
गौरतलब है कि बिहार में कोरोना मरीजों का आंकड़ा 30 हजार 369 को पार कर गया है, जिसमें 217 लोगों की मौत हो चुकी है. कोरोना से अब तक 19 हजार से अधिक मरीज जंग जीत चुके हैं, जबकि 10 हजार से अधिक मरीज अभी भी कोरोना के खिलाफ जंग लड़ रहे हैं. इस बीच पीएमसीएच में बदहाली की कई तस्वीरों का आजतक के कैमरों पर खुलासा हुआ था. कहीं मरीजों को अस्पताल में जगह नहीं मिल रही है तो कहीं होम आइसोलेशन में मरीज की मौत के बाद एजेंसियों की बेरुखी के कारण और लोग संक्रमण के खतरे का सामना कर रहे हैं..
बिहार में कोरोना खतरनाक रुख अख्तियार करता जा रहा है. दो दिन पहले बीजेपी के एमएलसी सुनील कुमार सिंह की मौत हुई थी और अब बुधवार को आरजेडी नेता राजकिशोर यादव का निधन हो गया है. राजकिशोर दानापुर सीट से आरजेडी के प्रत्याशी रहे हैं और उनकी लालू यादव के करीबी नेता के तौर पर गिनती होती थी.
बिहार सरकार के मंत्री विनोद कुमार सिंह, विधान परिषद के कार्यकारी सभापति अवधेश नारायण सिंह, बिहार बीजेपी अध्यक्ष संजय जायसवाल, जदयू नेता अजय आलोक और रामकृपाल यादव के अलावा कई बड़े नेता कोरोना की जद में आ चुके हैं. इन नेताओं के साथ उनके घरवाले भी कोरोना संक्रमित हो चुके हैं.
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नई दिल्ली : राजस्थान में मचे सियासी घमासान के बीच प्रदेश विधानसभा के स्पीकर सीपी जोशी ने सचिन पायलट के खेमे के बागी विधायकों के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाया है। सीपी जोशी ने कहा कि स्पीकर के पास पूरा अधिकार है कि वह वो कारण बताओ नोटिस जारी कर सकता है। मैंने अपने वकील से कहा है कि वह सुप्रीम कोर्ट में एसएलपी दायर करें। स्पीकर की जिम्मेदारियों का देश के संविधान और सुप्रीम कोर्ट ने बहुत ही स्पष्ठ व्याख्या की है। बतौर स्पीकर मुझे एक याचिका प्राप्त हुई और मैंने इसकी जानकारी मांगी, जिसके बाद मैंने कारण बताओ नोटिस जारी किया है। अगर स्पीकर कारण बताओ नोटिस नहीं जारी कर सकता है तो आखिर उसके पास किस बात का अधिकार है।
बता दें कि विधानसभा स्पीकर ने सचिन पायलट समेत कांग्रेस के 19 बागी विधायकों को पार्टी विरोधी गतिविधियों में शामिल होने के आरोप में अयोग्य ठहराने के लिए नोटिस भेजकर जवाब मांगा था। इस नोटिस के खिलाफ पायलट ग्रुप ने हाईकोर्ट का दरवाजा खटखटाया था विधानसभा स्पीकर द्वारा जारी अयोग्यता नोटिस के खिलाफ सचिन पायलट और कांग्रेस के 18 अन्य बागी विधायकों की याचिका पर राजस्थान हाईकोर्ट में सुनवाई पूरी हो चुकी है। राजस्थान के सियासी घटनाक्रम पर हाई कोर्ट अब 24 जुलाई को फैसला सुनाएगा। मंगलवार को उपमुख्यमंत्री सचिन पायलट गुट की याचिका पर दोपहर दो बजे हुई सुनवाई में उच्च न्यायालय ने स्पीकर को तब तक के लिए विधायकों पर कार्रवाई नहीं करने को कहा है।
बता दें कि विधानसभा स्पीकर ने सचिन पायलट समेत कांग्रेस के 19 बागी विधायकों को पार्टी विरोधी गतिविधियों में शामिल होने के आरोप में अयोग्य ठहराने के लिए नोटिस भेजकर जवाब मांगा था। इस नोटिस के खिलाफ पायलट ग्रुप ने हाईकोर्ट का दरवाजा खटखटाया था विधानसभा स्पीकर द्वारा जारी अयोग्यता नोटिस के खिलाफ सचिन पायलट और कांग्रेस के 18 अन्य बागी विधायकों की याचिका पर राजस्थान हाईकोर्ट में सुनवाई पूरी हो चुकी है। राजस्थान के सियासी घटनाक्रम पर हाई कोर्ट अब 24 जुलाई को फैसला सुनाएगा। मंगलवार को उपमुख्यमंत्री सचिन पायलट गुट की याचिका पर दोपहर दो बजे हुई सुनवाई में उच्च न्यायालय ने स्पीकर को तब तक के लिए विधायकों पर कार्रवाई नहीं करने को कहा है।
सुनवाई के बाद सीएम अशोक गहलोत ने भी अपने समर्थक विधायकों की तारीफ करते हुए कहा कि आपको अभी कुछ दिन और होटल में रहना पड़ सकता है। बता दें कि सचिन पायलट गुट की याचिका पर उच्च न्यायालय ने शुक्रवार से सुनवाई शुरू की थी। इसके बाद सोमवार और मंगलवार को भी याचिका पर कोर्ट ने दोनों पक्षों की दलीलें सुनी। मंगलवार की सुबह 10:30 बजे की सुनवाई में सचिन पायलट के वकील मुकुल रोहतगी ने कोर्ट में कहा था कि सचिन पायलट और अन्य विधायकों के खिलाफ शिकायत वाले दिन ही विधानसभा अध्यक्ष द्वारा अयोग्यता नोटिस जारी कर दिया गया। नोटिस जारी करने के लिए कोई कारण दर्ज नहीं किया गया और नियमों के अनुसार उन्हें कोरोना संकट में नोटिस का जवाब देने का भी समय नहीं दिया गया। -
नई दिल्ली : राजस्थान में जारी सियासी घमासान के बीच मख्यमंत्री अशोक गहलोत के भाई अग्रसेन गहलोत की मुश्किलें भी बढ़ गई हैं। बुधवार को कथित उर्वरक घोटाले में प्रवर्तन निदेशाल (ईडी) ने अग्रसेन गहलोत के कई ठिकानों पर छापेमारी की है। सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक इस मामले में ईडी देशभर में छापेमारी कर रही है। बता दें कि साल 2017 में भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) ने सीएम अशोक गहलोत के भाई अग्रसेन गहलोत पर आरोप लगाया था कि उन्होंने साल 2007 में कांग्रेस साशन के दौरान सब्सिडाइज्ड फर्टिलाइजर यानी उर्वरक का निर्यात किया था।
न्यूज एजेंसी एएनआई के मुताबिक प्रवर्तन निदेशालय ने जोधपुर में अनुपम कृषि नामक कंपनी में छापेमारी की कार्रवाई को अंजाम दिया है, इस कंपनी का मालिकाना हक राजस्थान के सीएम अशोक गहलोत के भाई अग्रसेन गहलोत के पास है। इस मामले में कस्टम डिपार्टमेंट ने मुकदमा चलाया है और कंपनी पर 7 करोड़ रुपये का जुर्माना लगाया। बता दें कि उर्वरक का निर्यात प्रतिबंधित है। क्लोराइड पोटाश को भारत में इंडियन पोटाश लिमिटेड आयातित करती है उसके बाद इसे सब्सिडाइज रेट पर देशभर में किसानों को बेचा जाता है।
अग्रसेन गहलोत पर आरोप है कि उन्होंने इंडियन पोटाश लिमिटेड के ऑथराइज्ड डीलर के तौर पर साल 2007 से 2009 के बीच क्लोराइड पोटाश को सब्सिडाइज रेट पर खरीदा और इसे किसानों में बांटने के बजाए कुछ कंपनियों को बेच दिया। उन कंपनियों ने इस क्लोराइड पोटाश को इंडस्ट्रियल सॉल्ट का नाम देकर मलेशिया और सिंगापुर को निर्यात कर दिया। इस मामले का खुलासा साल 2012 और 2013 में राजस्व खुफिया निदेशालय ने किया था। बता दें कि इससे पहले भी सीएम अशोक गहलोत के कई करीबियों पर ईडी ने एक्शन लिया है, इसके पहले सीएम के करीबियों के आवास पर आईटी विभाग ने 13 जुलाई को छापेमारी की थी। -
नई दिल्ली : राजा मान सिंह हत्याकांड में आठ बार फाइनल बहस हो गई थी और 19 जज भी बदल चुके थे। राजा के खिलाफ मंच और हेलीकॉप्टर तोड़ने के मामले में सीबीआइ ने एफआर लगा दी थी। 17 सौ से अधिक तारीखें भी मुकदमें पड़ी, जबकि अनुमान के मुताबिक, मुकदमे में आराेपित बनाए गए 18 पुलिसकर्मियों की सुरक्षा में 15 करोड़ रुपये से अधिक का खर्च भी हुआ। 35 साल बाद इस बहुचर्चित मामले में हत्या के दोषी करार हुए पुलिसकर्मियों को आजीवन कारावास की सजा सुनाई है। राजपरिवार की तरफ से विजय सिंह, गिरेंद्र कौर, कृष्णेंद्र कौर दीपा, दुष्यंत सिंह, गौरी सिंह, दीपराज सिंह कोर्ट में मौजूद रहे। साथ ही राजस्थान सरकार मुठभेड़़ में मारे गए लोगों के परिजनों को 30-30 हजार और घायलों के परिजनों को दो-दो हजार का मुआवजा देगी।
राजा मान सिंह हत्याकांड की सुनवाई जयपुर कोर्ट और उसके बाद जिला सत्र एवं न्यायाधीश की अदालत में हुई थी। करीब 35 साल तक चले इस मुकदमे को लेकर वादी पक्ष के अधिवक्ता नारायण सिंह विप्लवी ने बताया कि मामले में राजा मान सिंह के खिलाफ मंच और हेलीकॉप्टर तोड़ने के मामले में सीबीआइ ने अपनी जांच के बाद फाइनल रिपोर्ट भी लगा दी थी। राजा मानसिंह के समर्थक बाबूलाल से पुलिस ने जो तमंचा बरामद दिखाया था, उसमें भी फाइलन रिपोर्ट लग गई थी। एसएचओ वीरेंद्र सिंह के बाद इस मामले की जांच क्राइम ब्रांच के इंस्पेक्टर कान सिंह सिरबी ने की। इसके बाद मामला सीबीआइ को स्थानांतरित हो गया। सीबीआइ ने सिरबी समेत तीन पुलिसकर्मियों के खिलाफ फर्जी दस्तावेज तैयार करने का आरोप पत्र दाखिल किया था। लेकिन सीबीआइ अदालत में ये साबित नहीं कर सकी। ऐस में सिरबी समेत तीन पुलिसकर्मी दोषमुक्त हो गए। इधर, इस मामले में आठ बार फाइनल बहस को गई थी, लेकिन हर बार जज बदल गए। अब तक इस मामले में 19 जज बदल चुके हैं। जबकि 20वें जज ने इस पर अपना फैसला सुनाया है। 17 सौ से अधिक तारीखें भी पड़ीं। करीब आठ महीने तक हर 15 दिन में चार दिन लगातार इसी मुकदमे में बहस भी हुई। तब जाकर यह निर्णय आया है। अधिवक्ता के मुताबिक, राजस्थान से अभियुक्त और दोष मुक्त ठहराए गए लोगों को यहां तक लाने में अनुमान के मुताबिक पंद्रह करोड़ रुपये सुरक्षा पर खर्च हो हुए हैं।
मैं चश्मदीद गवाह हूं
मैं घटना का चश्मदीद गवाह हूं। घटना के समय में राजा साहब के साथ गाड़ी में था। मैं अकेला बचा हूं। मैने ही इस घटना की रिपोर्ट कराई थी। मैं वादी हूं और आज तक मुकदमें की पैरवी करता रहा हूं। हमको भरोसा था कि एक न एक दिन राजा साहब का न्याय मिलेगा और आज वह मिल गया है। मैं राजा साहब का छोटा दामाद हूं और अदालत के इस फैसले से बहुत खुश हूं।
भरतपुर की जनता मनाएगी खुशी
मैं राजा साहब की सबसे छोटी बेटी कृष्णेंद्र कौर दीप हूं। हमने न्याय के लिए 35 साल तक संघर्ष किया। हमे देर से न्याय मिला है, लेकिन हम इस अदालत के फैसले से खुश है। भरतपुर की जनता भी इस फैसले से खुशी मनाएंगी। आज वह सभी इस फैसले खुश होंगे, जो राजा मानसिंह से लगाव रखते हैं। कहते हैं कि देर हैं पर अंधेर नहीं हैं।
इनको हुई सजा :
तत्कालीन सीओ डीग कान सिंह भाटी निवासी हड्डा हाउस, एनवर्सर बीकानेर
तत्कालीन एसएचओ डीग वीरेंद्र सिंह निवासी बहरोर जाट थाना मंडावर अलवर
तत्कालीन कांस्टेबल सुखराम निवासी भूडा दरवाजा थाना डीग, भरतपुर।
तत्कालीन हैड कांस्टेबल आरएसी ई कंपनी छठवीं बटालियन जीवनराम निवासी गांव बरानेकुर्द भोपालगढ़ जोधपुर
तत्कालीन हैड कांस्टेबल आरएसी बी कंपनी छठवीं बटालियन भंवर सिंह निवासी गांव चांदनी थाना शंकरा जोधपुर
तत्कालीन कांस्टेबल आरएसी ई कंपनी छठवीं बटालियन हरी सिंह निवासी ग्राम धीरा थाना ढांचू जोधपुर
तत्कालीन कांस्टेबल आरएसी ई कंपनी छठवीं बटालियन शेर सिंह निवासी गांव निम्बारा थाना सुरणलिया नागौर
तत्कालीन कांस्टेबल आरएसी ई कंपनी छठवीं बटालियन छत्तर सिंह निवासी गांव कटूकाला थाना शेरगढ़ जोधपुर
तत्कालीन कांस्टेबल आरएसी ई कंपनी छठवीं बटालियन पदमाराम निवासी सुखमंडला थाना देवू जोधपुर
तत्कालीन कांस्टेबल आरएसी ई कंपनी छठवीं बटालियन जगमोहन निवासी गांव खाकावाली थाना नगर भरतपुर
इंस्पेक्टर/ सेकंड एसपी ऑफिस रवि शेखर मिश्रा निवासी 44 संजय कॉलोनी मेहरू नगर जयपुर
ये हुए दोषमुक्त :
क्राइम असिस्टेंट संबद्ध इंस्पेक्टर एसपी कार्यालय कान सिंह सिरबी निवासी गांव व थाना बिलाड़ा, जोधपुर
तत्कालीन हेडकांस्टेबल पुलिस लाइन हरी किशन निवासी सवला का नगला थाना बयाना भरतपुर
थाना डीग के तत्कालीन कांस्टेबल गोविंद प्रसाद निवासी गांव नटोज थाना खेड़ली अलवर
इनका हो गया निधन :
तत्कालीन एएसआइ थाना डीग सीताराम निवासी गोपालगढ़ भरतपुर
तत्कालीन कांस्टेबल थाना डीग नेकीराम निवासी गांव व थाना कामा भरतपुर
तत्कालीन कांस्टेबल थाना डीग कुलदीप सिह निवासी पूरमा थाना योहोन भरतपुर
ये पहले हुए बरी :
तत्कालीन कांस्टेबल व वाहन चालक महेंद्र सिंह निवासी खरेरा थाना बयाना भरतपुर -
मध्यप्रदेश : मध्य प्रदेश के रायसेन जिले में 64 जेल कैदियों के कोरोनो टेस्ट पॉजिटिव आने पर राज्य सरकार ने जेलर को निलंबित कर दिया है। जेल मंत्री नरोत्म मिश्रा ने इसकी जानकारी दी है। जेलर विनय जंदेलवाल रायसेन जिले के बरेली में उप-जेल में तैनात थे। गृहमंत्री ने कहा कि जेलर विनय जंदेलवाल को जेल में कोरोनो वायरस फैलाने के लिए जिम्मेदार पाया गया है। मैंने जेल के महानिदेशक को जेलर को तुरंत सेवा से निलंबित करने के लिए कहा है।
मंत्री ने कहा कि 40 मरीजों (जेल कैदियों) को विदिशा मेडिकल कॉलेज में शिफ्ट किया गया है और बाकियों को रायसेन जेल में ही रखा गया है। अब हम ऐसी व्यवस्था कर रहे हैं कि जब किसी भी आरोपी को राज्य भर की किसी भी जेल लाया जाए तो पहले उसका कोविड-19 टेस्ट कराया जाए। तब तक, उसे जेल में क्वारंटाइन करके रखा जाए।
रायसेन की पुलिस अधीक्षक मोनिका शुक्ला ने कहा कि तीन जेल गार्डर्स को जिले के अस्पताल में भर्ती कराया गया था।
जेल के एक अधिकारी ने नाम नहीं छापने की शर्त पर बताया कि विशेष रूप से भीड़भाड़ वाले उप-जेल में 40 की क्षमता सेल में लगभग 80 कैदी थे, जिसके चलते सोशल डिस्टेंसिंग के नियमों का पालन नहीं किया जा सकता था और हाल ही में उप-जेल में बंद कैदियों का कोई कोरोना टेस्ट नहीं किया गया था।
अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक अमृत मीणा ने कहा कि चार नए कैदियों को हाल ही में उप-जेल में रखा गया था और उन्होंने ही 64 कैदियों में संक्रमण फैलाया। उन्होंने बताया कि कोरोना पॉजिटिव अधिकांश कैदी पहले से रोगग्रस्त हैं और उन्हें सर्दी और खांसी की समस्या है।
रायसेन जेल की घटना ने राज्य की जेलों में भीड़भाड़ की समस्या को उजागर किया है। मध्य प्रदेश की जेलों में कैदियों की ज्यादा संख्या वाले राज्यों में से एक है। एससीआरबी 2019 के आंकड़ों के अनुसार, एमपी की 131 जेलों में 155 फीसद कैदियों का अतिरिक्त भार था।
पुलिस महानिदेशक (जेल) संजय चौधरी ने कहा कि कोविद-19 के प्रकोप के बाद जेल से भीड़ को कम करने के लिए 9000 जेल कैदियों को पैरोल पर रिहा किया गया है। पैरोल कैदियों को भेजने के बाद भी 28500 की क्षमता वाली जेलों में 36000 कैदी हैं, यानी जेलों की क्षमता से 24 फीसद अधिक।
उन्होंने कहा कि कोविड 19 के प्रकोप के बाद हमने हर जेल के एक बैरक को हर नए कैदी के लिए क्वारंटाइन बैरक बनाया। जेल में आने वाले कैदी को पहले 14 दिनों के लिए क्वारंटाइन किया जाता है और वह पूरा होने के बाद ही उसे जेल के अन्य कैदियों के साथ जाने की अनुमति दी जाती है। हमने कैदियों के रिश्तेदारों के साथ जेल मुलाकात पर रोक लगा दी है। इतना ही नहीं जेल के कर्मचारियों के लिए तापमान मापने की मशीन और पल्स ओमेसेटर भी उपलब्ध कराया है, लेकिन भीड़भाड़ के कारण छोटी जेल (बरेली में) में संक्रमण फैल गया।
उन्होंने कहा है कि इसके अलावा भीड़भाड़ की समस्या से निपटने के लिए जेल विभाग के मंत्री ने पैरोल की अवधि में 60 दिन और बढ़ाने की घोषणा की है। जेल के पिछले सप्ताह मंत्री नरोत्तम मिश्रा ने कहा था कि अंडर-ट्रायल के कैदियों की पैरोल को 60 दिनों तक और बढ़ाया जाएगा क्योंकि जेलों में कैदियों की संख्या बहुत अधिक है। आने वाले दिनों में राज्य सरकार भीड़भाड़ के मुद्दे को सुलझाने की कोशिश करेगी। -
नई दिल्ली : वर्ष 1985 के राजा मान सिंह की मौत का बहुचर्चित मामले में फैसला देते हुए मथुरा की अदालत ने 11 पुलिस कर्मियों को दोषी ठहराया. दोषी पुलिसकर्मियों को बुधवार को सजा सुनाई जाएगी. गौरतलब है कि 80 के दशक में राजा मान सिंह का मामला बेहद चर्चा में रहा था. वर्ष 1985 में मानसिंह राजस्थान के भरतपुर में पुलिस एनकाउंटर में मारे गए थे. इससे, एक दिन पहले उन्होंने राजस्थान के तत्कालीन हेलीकॉप्टर में अपनी जीप से जोरदार टक्कर मारी थी. घटना पर फैसला आने में 35 वर्ष लग गए.मामला राजस्थान पुलिस से जुड़ी घटना से संबंधित है, जिस पर पश्चिमी यूपी के मथुरा की कोर्ट ने सुनवाई की. सुप्रीम कोर्ट की ओर से यह मामला इस कोर्ट को ट्रांसफर कर दिया था. मामले में राजा मानसिंह ने अपनी जीप को राजस्थान के तत्कालीन सीएम के हेलीकॉप्टर और रैली के मंच से टकरा दिया था.21 फरवरी, 1985 को हुई इस एनकाउंटर मामले ने राजस्थान में एक राजनीतिक तूफान खड़ा कर दिया और अंततः घटना के दो दिन बाद कांग्रेस के मुख्यमंत्री शिवचरण माथुर को इस्तीफा देना पड़ा था.
राजा मान सिंह के पोते दुष्यंत सिंह ने एक बयान उस घटनाक्रम के बारे में बताया जिसके कारण यह हत्या हुई थी. दुष्यंत सिंह ने बयान में कहा, "राजस्थान में 1985 के विधानसभा चुनाव में कांग्रेस ने एक सेवानिवृत्त आईएएस अधिकारी बृजेन्द्र सिंह को राजा मान सिंह के खिलाफ मैदान में उतारा, राजा मानसिंह निर्दलीय उम्मीदवार के रूप में चुनाव लड़ रहे थे." बयान के अनुसार, "उस समय कांग्रेस कार्यकर्ताओं ने भरतपुर के झंडे का अपमान किया और इससे राजा मान सिंह को गुस्सा आ गया. उन्होंने अपनी जीप से तत्कालीन मुख्यमंत्री की रैली के मंच को नुकसान पहुंचाया और मुख्यमंत्री को ले जाने के लिए खड़े चॉपर को क्षतिग्रस्त कर दिया था." यह घटना 20 फरवरी को हुई थी. -
मुख्यमंत्री ने जगदलपुर के महारानी अस्पताल में कराये गए नवीनीकरण कार्यो का वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग से किया लोकार्पण-भूमिपूजन
क्षेत्र के विकास के लिए लगभग 244 करोड़ रूपए लागत के 61 कार्यो का लोकार्पण-भूमिपूजन
बस्तर में लघु वनोपजों के वेल्यू एडिशन की अच्छी पहल काजू प्रसंस्करण
बस्तर कॉफी, बस्तर काजू, बस्तर हल्दी उत्पादों की मुख्यमंत्री ने की लॉन्चिंग
रायपुर : मुख्यमंत्री श्री भूपेश बघेल ने आज अपने रायपुर निवास से वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से बस्तर जिले के मुख्यालय जगदलपुर स्थित महारानी अस्पताल में 07 करोड़ 27 लाख रूपए की लागत से कराए गए नवीन कार्यो का लोकार्पण किया गया। मुख्यमंत्री ने कहा कि बस्तर के लोगों का महारानी अस्पताल से भावनात्मक लगाव है। नई सरकार महारानी अस्पताल को इस क्षेत्र के सर्वसुविधा सम्पन्न अस्पताल के रूप में विकसित करने का काम कर रही है। महारानी जिला अस्पताल की सुविधाएं देश के किसी भी जिला अस्पताल से कम नहीं है। अभी बस्तर के लोगों को इलाज के लिए बाहर जाना पड़ता है। राज्य सरकार यहां अच्छी से अच्छी स्वास्थ्य सुविधाएं उपलब्ध कराने के प्रयास कर रही है, जिससे बाहर के लोग भी बस्तर आकर अपना इलाज करा सकेंगे।
मुख्यमंत्री ने कहा कि बस्तर में स्वास्थ्य सुविधाओं के लिए डॉक्टरों की कमी न हो इसका विशेष ध्यान रखा जाए। मुख्यमंत्री ने महारानी अस्पताल में 01 करोड़ रूपए की लागत से मातृ-शिशु स्वास्थ्य संस्थान कादम्बिनी में कराए गए उन्नयन कार्य और 04 करोड़ 58 लाख रूपए की लागत से महारानी अस्पताल में मातृ-शिशु पैथोलॉजी लैब, ब्लड बैक एवं डायलिसिस के लिए आवश्यक उपकरण का लोकार्पण किया।
इसी तरह उन्होंने महारानी अस्पताल में लगभग 50 लाख रूपए की लागत से नेत्र वार्ड के नवीनीकरण, लगभग 49 लाख रूपए की लागत से अस्पताल के द्वितीय तल परिवर्धन के कार्य और 50 लाख रूपए की लागत से वर्तमान ओपीडी-एमसीएच के निर्माण कार्य का भूमिपूजन किया। श्री बघेल ने कार्यक्रम में क्षेत्र के विकास के लिए सड़क, पुल-पुलिया, शिक्षा, स्वास्थ्य और खेलकूद की अधोसंरचना विकसित करने के लिए 244 करोड़ 25 लाख रूपए की लागत के 61 निर्माण कार्यो का लोकार्पण और भूमिपूजन किया। उन्होंने इनमें से 22 करोड़ 87 लाख रूपए की लागत के 11 कार्यो का लोकार्पण और 221 करोड़ 38 लाख रूपए की लागत के कार्यो का भूमिपूजन और शिलान्यास किया।
मुख्यमंत्री ने कहा कि जिला प्रशासन के सहयोग से बस्तर में लघु वनोपजों के वेल्यू एडिशन का अच्छा कार्य किया जा रहा है। बकावण्ड स्थित काजू प्रसंस्करण के फिर से शुरू होने से काजू प्रसंस्करण से जुड़ी महिलाओं को इसका लाभ मिल रहा है। उन्होंने कहा कि पिछले वर्ष के जैसे ही इस साल भी मलेरिया उन्मूलन और उल्टी, दस्त की रोकथाम के लिए बेहतर प्रबंधन की आवश्यकता है। उन्होंने मलेरिया मुक्त अभियान और कुपोषण के खिलाफ अभियान में सफलता के लिए जिला प्रशासन को बधाई दी। एनआईसी द्वारा बस्तर क्षेत्र में पहली बार डिजिटल प्लेटफार्म पर वीडियो कॉन्फ्रंेंसिंग के माध्यम से ग्रामीणों से चर्चा करायी गई।
मुख्यमंत्री ने युवोदय के वालिन्टियर्स तथा जिला प्रशासन से कहा कि बस्तर की आबोहवा के अनुकूल फलदार वृक्ष लगाएं, जिससे वहां के रहवासियों को उसका लाभ मिले। इंद्रावती नदी नदीतट वृक्षारोपण कार्यक्रम के तहत् तिरथा ग्राम पंचायत में युवोदय के वॉलिंटियर द्वारा मुख्यमंत्री श्री बघेल के नाम पर 50 हजारवां वृक्षारोपण किया गया। मुख्यमंत्री श्री बघेल ने वीडियों कॉन्फ्रेसिंग के माध्यम से युवोदय के वालिन्टियर्स से चर्चा की। वृक्षारोपण से बस्तर की जीवन रेखा इंद्रावती नदी की खूबसूरती में चार चांद लगेंगे। उन्होंने कहा कि काजू की भांति महुआ, ईमली सहित अन्य 31 लघु वनोपजों मंे वेल्यू एडिशन का काम होना चाहिए। उन्होंने इस बात खुशी जताई कि बस्तर के डिलमिली और दरभा क्षेत्र की आबोहवा काफी के लिए अनुकूल है। यहां 20 एकड़ में काफी उत्पादन के लिए किसानों को जोड़ा गया है।
मुख्यमंत्री ने वीडियो कॉन्फ्रंेसिंग के जरिए बस्तर कॉफी, बस्तर काजू, बस्तर हल्दी जैसे प्रसंस्कृत उत्पादों की लॉन्चिंग की। उन्हांेने कहा कि इन उत्पादों की मार्केटिंग के लिए व्यवस्थाएं सुनिश्चित की जाए और प्राईवेट कम्पनियों से अनुबंध किया जाए। यह भी ध्यान रखा जाए जितनी बाजार मांग हो, उसके अनुरूप उत्पादन हो। मुख्यमंत्री ने आमचो बस्तर अभियान के लोगो (प्रतीक चिन्ह) जारी किया। इस अभियान में वृक्षारोपण और लघु वनोपजों के प्रसंस्करण का काम किया जा रहा है।
स्वास्थ्य मंत्री श्री टी.एस. सिंहदेव अम्बिकापुर से, मुख्यमंत्री निवास से वन मंत्री श्री मोहम्मद अकबर और उद्योग मंत्री कवासी लखमा ने लोकार्पण कार्यक्रम को सम्बोधित करते हुए बस्तर वासियों को अपनी शुभकामनाएं दी। स्कूल शिक्षा मंत्री और बस्तर जिले के प्रभारी मंत्री डॉ. प्रेमसाय सिंह टेकाम सूरजपुर से वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से कार्यक्रम में जुड़े। जगदलपुर के महारानी अस्पताल कार्यक्रम स्थल पर बस्तर सांसद श्री दीपक बैज, संसदीय सचिव श्री रेखचंद जैन, विधायक सर्वश्री चंदन कश्यप और राजमन बेंजाम, क्रेडा के अध्यक्ष श्री मिथलेश स्वर्णकार और जगदलपुर महापौर श्रीमती शफीरा साहू सहित अनेक जनप्रतिनिधि और प्रबुद्ध नागरिक उपस्थित थे। -
नई दिल्ली : पूर्व प्रधानमंत्री राजीव गांधी हत्याकांड की दोषी नलिनी ने सोमवार रात को जेल के अंदर आत्महत्या करने की कोशिश की। नलिनी तमिलनाडु के वेल्लोर जेल में बंद है। यहीं उसने कथित तौर पर आत्महत्या करने की कोशिश की। इसकी जानकारी उसके वकील पुगलेंती ने दी।
नलिनी के वकील ने अनुसार, पिछले 29 साल से जेल में बंद नलिनी के साथ पहली बार ऐसा हुआ है जब उसने खुदकुशी करने की कोशिश की हो। वकील ने बताया कि उसका जेल में कथित तौर पर एक कैदी से झगड़ा हुआ था। जिस साथी कैदी के साथ नलिनी का झगड़ा हुआ था वो भी उम्र कैद की सजा के लिए जेल में बंद है। उस कैदी ने जेलर से झगड़े की शिकायत की जिसके बाद नलिनी ने आत्महत्या करने की कोशिश की।वकील ने बताया कि नलिनी ने पहले कभी ऐसा नहीं किया इसलिए इसकी असल वजह जानने की कोशिश की जा रही है। उन्होंने कहा कि नलिनी का पति मुरुगन भी राजीव गांधी हत्याकांड में जेल के अंदर बंद है। उसने अनुरोध किया है कि उसकी पत्नी को वेल्लोर जेल से पुझल जेल में शिफ्ट कर दिया जाए। वकील ने बताया कि अदालत में मुरुगन की मांग को उठाया जाएगा। -
जम्मू-कश्मीर : राजोरी में बारूदी सुरंग में विस्फोट होने से सेना के दो जवान घायल हो गए हैं। जिन्हें उपचार के लिए सेना के अस्पताल उधमपुर में भर्ती कराया गया है।
अधिकारियों ने मंगलवार को बताया कि राजोरी जिले के नौशरा क्षेत्र में एक बारूदी सुरंग में विस्फोट हो गया। इस दौरान दो सैनिक घायल हो गए। जिन्हें प्राथमिक उपचार के बाद आनन-फानन में सेना के अस्पताल में भर्ती कराया गया है।इससे पहले कारगिल सेक्टर में नियंत्रण सीमा रेखा के पास रविवार को भारतीय सेना का एक जवान शहीद हो गया था। एक सैन्य अधिकारी ने बताया कि जवान का पैर गलती से एक पुराने विस्फोटक उपकरण पर पड़ गया, जिसकी वजह से हुए ब्लास्ट में जवान शहीद हो गया।
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बिहार : बिहार के पूर्णिया जिले के बायसी थाना क्षेत्र के खपड़ा पंचायत के गवालगांव वार्ड संख्या 7 में घरेलू गैस सिलेंडर के रिसाव से लगी आग में एक ही परिवार के 7 लोग आग से झुलस गए। हादसे में बुरी तरह झुलसे 5 लोगों की मौत इलाज के दौरान हुई। वहीं दो लोगों की स्थिति अब भी गंभीर बनी हुई है। बायसी के अंचलाधिकारी ने 5 लोगों के मौत की पुष्टि की है।
घटना के संबंध में खपरा पूर्व मुखिया अरुण यादव ने बताया कि घरेलू गैस सिलेंडर लीक कर रहा था लेकिन अचानक जलाने जाने के क्रम में आग लग गई। इससे घर में मौजूद एक महिला और पुरुष और पांच बच्चे गंभीर रूप से आग से झुलस गए। सभी को ग्रामीणों की मदद से सदर अस्पताल इलाज के लिए ले जाया गया जहां 3 वर्षीय प्रीति कुमारी की मौत हो गई। प्रीति हरे रामपुर निवासी पप्पू यादव की बेटी थी और अपनी मां बेबी देवी के साथ अपने नाना के घर आई हुई थी।
वहीं आग में वीरेंद्र यादव के बेटे पिंटू यादव और उनकी बहन बेबी देवी और 4 बच्चे गंभीर रूप से झुलस गए। सदर अस्पताल में इलाज के दौरान इनमें से चार की मौत हो गई। मृतकों मां बेबी देवी और 3 वर्षीय प्रीति कुमारी एवं युवक पिंटू कुमार यादव और दो अन्य शामिल हैं। -
बैहार गौठान में मुख्यमंत्री ने गोबर खरीदकर योजना का किया शुभारंभ
रोका-छेका अभियान रहा सार्थक, एक पखवाड़े पहले हो गयी फसलों की बुआई
रायपुर : मुख्यमंत्री श्री भूपेश बघेल ने कल रायपुर जिले के आरंग विकासखंड के बैहार गौठान में गोबर की खरीदी कर राज्य सरकार की महत्वाकांक्षी गोधन न्याय योजना का विधिवत शुभारंभ किया। इस अवसर पर उन्होंने हरेली पर्व और गोधन न्याय योजना के लिए सभी लोगों को बधाई और शुभकामनाएं दी। शुभारंभ कार्यक्रम में कृषि एवं जल संसाधन मंत्री श्री रविन्द्र चौबे, नगरीय प्रशासन मंत्री डॉ. शिव कुमार डहरिया सहित अन्य जनप्रतिनिधि उपस्थित थे।
मुख्यमंत्री श्री भूपेश बघेल ने इस अवसर पर कार्यक्रम को सम्बोधित करते हुए कहा कि आज का दिन ऐतिहासिक है। राजीव गांधी किसान न्याय योजना के बाद सरकार ने किसानों और ग्रामीणों के बेहतरी के लिए गोधन न्याय योजना की शुरूआत की है। उन्होंने कहा कि छत्तीसगढ़ सरकार देश-दुनिया की पहली सरकार है, जिसने शासकीय दर पर गोबर की खरीदी शुरू की है। यह योजना बहुउद्देशीय और सभी लोगों के लिए लाभकारी है। गोबर की खरीदी से पशुधन के सरंक्षण एवं संवर्धन को बढ़ावा मिलेगा। खेतांे में पैरा जलाने पर रोक लगेगी। पर्यावरण प्रदूषण रूकेगा। वर्मी कम्पोस्ट खाद के उत्पादन और उपयोग को बढ़ावा मिलने से खेतों की उर्वरा शक्ति बढ़ेगी। खुले में चराई की प्रथा पर रोक लगेगी, जिससे फसलों की सुरक्षा होगी। जैविक खाद के उपयोग से विष रहित अनाज उत्पादन और खेती की लागत में कमी आएगी।
मुख्यमंत्री ने कहा कि छत्तीसगढ़ राज्य में कई समस्याएं हैं, लेकिन उनका ये मानना है कि खुले में पशुओं की चराई एक बड़ी समस्या है। इसके निदान के लिए गांवों में गौठान निर्माण (गरूवा) योजना की रूपरेखा सरकार ने तैयार की। इसके साथ ही नरवा, घुरूवा और बाड़ी को इसमें शामिल किया गया है। आज नरवा, गरूवा, घुरूवा, बाड़ी छत्तीसगढ़ राज्य की चार चिन्हारी बन गए हैं, जिनके संवर्धन का काम किया जा रहा है। मुख्यमंत्री ने कहा कि ऐसे ग्रामीण और किसान जिनके पास चार-पांच मवेशी हैं, उन्हें गोधन न्याय योजना के माध्यम से हर महीने चार-पांच हजार रूपए तक की अतिरिक्त आय होगी। उन्होंने लोगों से पशुधन केे चारे के प्रबंध के लिए गांव के गौठानों को पैरादान करने की भी अपील की। मुख्यमंत्री ने गौठानों में हरे चारे की व्यवस्था करने का भी आग्रह किया।
मुख्यमंत्री श्री भूपेश बघेल ने कहा कि प्रदेश में रोका-छेका अभियान का बड़ा ही सार्थक परिणाम सामने आया है। इस साल खरीफ फसलों की बुआई का काम एक पखवाड़े पहले ही पूरा हो गया है। धान की फसल जल्दी तैयार होगी। इसके बाद किसान उतेरा, उन्हारी की फसल ले सकेंगे। रोका-छेका के परिणाम स्वरूप राज्य में द्विफसली खेती को बढ़ावा मिलेगा और किसानों के घरों में समृद्धि आएगी। उन्होंने कहा कि गोधन न्याय योजना के तहत गौठानों में गोबर की खरीदी दो रूपए किलो में की जाएगी। इससे गौठानों में स्व-सहायता के माध्यमों से वर्मी कम्पोस्ट खाद एवं अन्य उत्पाद तैयार किए जाएंगे। वर्मी कम्पोस्ट खाद का विक्रय 8 रूपए प्रतिकिलो की दर से किया जाएगा।
कृषि एवं जल संसाधन मंत्री श्री रविन्द्र चौबे ने कहा कि हरेली छत्तीसगढ़ का सबसे महत्वपूर्ण त्यौहार है। इस दिन धरती माता, खेती-किसानी के औजारों और गोमाता की पूजा की जाती है। छत्तीसगढ़ राज्य में गांव, गरीब और किसानों के बेहतरी के लिए मुख्यमंत्री श्री भूपेश बघेल की सोच और उनके कार्यो की उन्होंने सराहना की और कहा कि बीते डेढ़ सालों में छत्तीसगढ़ के तीज-त्यौहार, परम्परा, कला और संस्कृति को बढ़ावा मिला है। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री श्री बघेल ने अपने वादे को निभाया है। धान की समर्थन मूल्य पर खरीदी, किसानों की कर्जमाफी के वादे को उन्होंने विपरित परिस्थितियों में भी बखूबी निभाया है। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री श्री भूपेश बघेल की सरकार ने किसानों को धान खरीदी, कर्जमाफी तथा राजीव गांधी किसान न्याय योजना के माध्यम से लगभग 55 हजार करोड़ रूपए की राशि सीधे उनके खातों में अंतरित की है। मंत्री श्री चौबे ने कहा कि छत्तीसगढ़ में धान के विपुल उत्पादन को देखते हुए इससे एथेलॉन बनाने की अनुमति केन्द्र सरकार से मांगी गयी है। इससे राज्य में उत्पादित होने वाले धान की शत-प्रतिशत मात्रा का उपयोग सुनिश्चित हो सकेगा।
नगरीय प्रशासन मंत्री डॉ. शिवकुमार डहरिया ने कहा कि छत्तीसगढ़ राज्य के निर्माण को लेकर जो सपना डॉ. खूबचंद बघेल, स्वर्गीय मिनीमाता, ठाकुर प्यारेलाल, वरिष्ठ छेदीलाल, पंडित सुन्दरलाल शर्मा और हमारे पुरखों ने देखा था, उसे मुख्यमंत्री श्री भूपेश बघेल ने पूरा कर रहे हैं। डॉ. डहरिया ने प्रदेश सरकार की जन हितैषी नीतियों का विस्तार से उल्लेख करते हुए कहा कि छत्तीसगढ़ राज्य में गांव, गरीब और किसानों के बेहतरी के लिए मुख्यमंत्री श्री भूपेश बघेल के नेतृत्व में किसान एक्सप्रेस चल रही है। उन्होंने कहा कि गोधन न्याय योजना की आज से शुरूआत हो रही है। इस योजना के चर्चा देश-विदेश और यूर्नाइटेड नेशन में हो रही है। डॉ. डहरिया के इस उदबोधन पर लोगों ने ताली बजाकर गोधन न्याय योजना का समर्थन किया।
गोधन न्याय योजना के शुभारंभ कार्यक्रम मे बैहार पहुंचने पर ग्रामीण और किसानों ने मुख्यमंत्री श्री भूपेश बघेल और अन्य अतिथियों का परम्परागत रूप से जोरदार स्वागत किया। यहां मुख्यमंत्री बैलागाड़ी में सवार होकर गौठान स्थित गौशाला पहुंचे और विधि-विधान से गौमाता और कृषि औजार की पूजा-अर्चना की। इसके पश्चात उन्होंने अपने हाथों से गौमाता को आटे और खमार पत्ते की लोंदी, हरा चारा खिलाया। मुख्यमंत्री श्री भूपेश बघेल बैहार गौठान में ग्रामीणों के साथ हरेली त्यौहार मनाया। मुख्यमंत्री यहां गेड़ी चढ़े, भौरा-बाटी, गिल्ली-डंडा और पिट्ठुल खेले। ग्रामीणों ने मुख्यमंत्री और अतिथियों को खुमरी पहनाकर, नांगर और गमछा भेंटकर स्वागत सम्मान किया। मुख्यमंत्री ने इस अवसर पर गौठान बाजार और ग्राम बैहार के महिला स्व-सहायता समूहों के उत्पाद का अवलोकन किया। इस अवसर पर राज्यसभा सांसद श्रीमती छाया वर्मा, संसदीय सचिव श्री विकास उपाध्याय, नगर निगम रायपुर के महापौर श्री एजाज ढेबर, खनिज विकास निगम के अध्यक्ष श्री गिरिश देवांगन, खाद एवं ग्रामोद्योग बोर्ड के अध्यक्ष श्री राजेन्द्र तिवारी, राज्य महिला आयोग के अध्यक्ष डॉ. किरणमयी नायक, राज्य कृषक कल्याण बोर्ड के अध्यक्ष श्री सुरेन्द्र शर्मा, जिला पंचायत अध्यक्ष श्रीमती डोमेश्वरी वर्मा, जनपद पंचायत के अध्यक्ष श्री खिलेश देवांगन सहित अन्य जनप्रतिनिधियों एवं बड़ी संख्या में ग्रामीणजन उपस्थित थे।
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- 85 करोड़ 61 लाख रुपए के 435 विकास कार्यों के भूमिपूजन के साथ ही 16 करोड़ 90 लाख रुपए के 178 कार्यों का किया लोकार्पण,
-शानदार अधोसंरचना के साथ अत्याधुनिक सुविधाओं का आगाज
कम्युनिटी हाल के लोकार्पण के दौरान पाटन के नागरिकों के साथ किया संवाद भी
दुर्ग 20 जुलाई 2020/पाटन ब्लाक में हरेली तिहार के अवसर पर गोधन न्याय योजना की शुरूआत के साथ ही मुख्यमंत्री श्री भूपेश बघेल 102 करोड़ रुपए के विकास कार्यों का लोकार्पण एवं भूमिपूजन भी किया। लगभग 85 करोड़ रुपए के 435 कार्यों के भूमिपूजन के साथ ही 16 करोड़ रुपए के 178 विकास कार्यों का लोकार्पण मुख्यमंत्री के हाथों हुआ। इन विकास कार्यों से पाटन ब्लाक के लोगों की अधोसंरचना संबंधी जरूरत तो पूरी होगी ही, अत्याधुनिक सुविधाओं वाले शहर के रूप में भी पाटन पूरी तरह तैयार होगा। इंडोर स्टेडियम, अत्याधुनिक कम्युनिटी हाल, स्वीमिंग पुल के साथ ही ग्रामीण क्षेत्रों में शुद्ध पेयजल जैसी बुनियादी सुविधाओं के कार्यों का लोकार्पण एवं भूमिपूजन हुआ। साथ ही मुख्यमंत्री के द्वारा ग्राम सिकोला में पथ वृक्षारोपण का लोकार्पण भी किया गया। इसमें 44 किलोमीटर सड़को में लगभग इतने ही पेड़ लगाए गए। इस मौके पर जिले के सभी ब्लाकों में 10 ग्राम पंचायत इस तरह 30 ग्राम पंचायतों में गोधन न्याय योजना का भी शुभारंभ हुआ। 31 जुलाई तक सभी 216 गौठानों में यह योजना आरंभ हो जाएगी। इसके साथ ही मुख्यमंत्री ने पाटन के कम्युनिटी हाल के लोकार्पण के दौरान पाटन के नागरिकों के साथ संवाद भी किया।
पाटन नगर को सामुदायिक भवन जीर्णोद्धार की सौगात- प्रमुख लोकार्पण कार्यों में पाटन में वार्ड क्रमांक 15 में 34 लाख रुपए की लागत से निर्मित डाॅ. खूबचंद बघेल सामुदायिक भवन जीर्णोद्धार कार्य के साथ ही इसी वार्ड में 24 लाख रुपए की लागत से निर्मित गौठान, विभिन्न वार्डों में 32 लाख रुपए से डामरीकरण कार्य, नगर के विभिन्न विकास वार्डों में 73 लाख रुपए के विकास कार्य शामिल है। इस प्रकार नगर पंचायत पाटन में विभिन्न विकास कार्यों के लिए एक करोड़ 65 लाख रुपए की राशि से निर्मित संरचनाओं का लोकार्पण किया गया।
4 नलजल आवर्धन योजनाओं का शुभारंभ- कुल एक करोड़ 83 लाख रुपए की राशि से निर्मित 4 नलजल आवर्धन योजनाओं का लोकार्पण भी इस अवसर पर किया गया। यह योजनाएं पतोरा, ढौर, भानसुली और खुड़मुड़ा में आरंभ हो जाएंगी। इनकी शुरूआत से इन चार गांवों के लोगों की पेयजल की समस्या पूरी तरह हल हो जाएगी।
सोलर एनर्जी के कार्य भी होंगे लोकार्पित- पाटन में दो करोड़ रुपए की लागत से निर्मित सोलर पावर प्लांट के माध्यम से स्ट्रीट लाइट स्थापना कार्य का लोकार्पण भी किया गया। इसी प्रकार 170 सोलर ड्यूल पंप के माध्यम से पेयजल व्यवस्था के कार्यों का लोकार्पण भी हुआ। इसकी लागत 7 करोड़ 41 लाख रुपए है। इस प्रकार 9 करोड़ 41 लाख रुपए की लागत के 178 कार्यों का लोकार्पण सोलर एनर्जी से संबंधित कार्यों का हुआ।
29 ऐसे कार्य जिनसे गुलजार होगा पाटन- नकटा तालाब का गहरीकरण एवं सौंदर्यीकरण कार्यों का भूमिपूजन भी इस अवसर पर हुआ। पांच करोड़ 97 लाख रुपए की लागत से इस तालाब के जीर्णोद्धार का कार्य होगा। तालाब से शहर की खूबसूरती भी बढ़ेगी और गहराई होने से वाटर लेवल भी बढ़ेगा। इसी तरह से 2 करोड़ 95 लाख रुपए की लागत से हनुमान तालाब का गहरीकरण भी होगा। स्पोर्ट्स फैसिलिटी बढ़ाने के लिए वार्ड क्रमांक 5 में मल्टी परपस इंडोर स्पोर्ट्स हाल का भूमिपूजन हुआ। साढ़े चार करोड़ रुपए की लागत से इसी वार्ड में स्वीमिंग पुल निर्माण कार्य भी होगा। 21 लाख 55 हजार रुपए की लागत से प्रेस क्लब के भवन का भूमिपूजन और 20 लाख रुपए की लागत से बनने वाले कृषक सदन का भूमिपूजन भी इस अवसर पर किया गया। इसके साथ ही नगर के विकास एवं बुनियादी संरचनाओं से संबंधित अनेक कार्यों का भूमिपूजन भी मुख्यमंत्री ने किया। इस प्रकार 40 करोड़ 72 लाख रुपए के 29 अधोसंरचनाओं से संबंधित कार्यों का भूमिपूजन मुख्यमंत्री ने किया।
जनपद पंचायत संसाधन केंद्र का भी भूमिपूजन- इस मौके पर जनपद पंचायत संसाधन केंद्र का भूमिपूजन भी मुख्यमंत्री ने किया। इसका निर्माण 1 करोड़ 26 लाख रुपए की राशि से कराया जाएगा। इसके साथ ही झीट, मर्रा और सांतरा में भी धान संग्रहण केंद्र का भूमिपूजन भी हुआ।
19 जलआवर्धन योजनाओं का भी भूमिपूजन- मुख्यमंत्री द्वारा पाटन ब्लाक के 19 गांवों में 4 करोड़ 84 लाख रुपए की लागत से 19 योजनाओं का भूमिपूजन किया गया। इनमें से मुड़पार, तर्रीघाट, सिपकोन्हा, केसरा, छाटा, परसाही, उफरा, सोनपुर, बोरेन्दा, गुढ़ियारी, मगरघटा, सिकोला, अचानकपुर, चुनकट्टा, अमलेश्वर, गोडपेण्ड्री, नवागांव, तेलीगुण्डरा और फेकारी में नलजल आवर्धन योजनाओं का भूमिपूजन किया।
26 करोड़ रुपए की लागत से नहरों के जीर्णोद्धार का कार्य- मुख्यमंत्री द्वारा इस अवसर पर 6 करोड़ रुपए की लागत में बेलौदी जलाशय तथा नहरों का जीर्णोद्धार कार्य, 4 करोड़ 33 लाख रुपए की लागत से कौही उदवहन सिंचाई योजना का आधुनिकीकरण एवं नहरों की लाइनिंग, 3 करोड़ 31 लाख रुपए की लागत से गुजरा व्यपवर्तन नहर का मरम्मत कार्य शामिल है। इसके साथ ही मगरघटा, कापसी, सांकरा माइनर का जीर्णोद्धार , सेलूद तथा तर्रा के निरीक्षण गृह का जीर्णोद्धार कार्य भी शामिल है।
हितग्राहियों को वितरण कार्यक्रम- इस अवसर पर 217 स्वसहायता समूहों को 78 लाख रुपए की राशि सक्षम योजना अंतर्गत प्रदाय की गई। इसके साथ ही मुख्यमंत्री सुपोषण मिशन के द्वितीय चरण की शुरूआत भी की गई। छत्तीसगढ़ महिला कोष अंतर्गत चेक का वितरण भी किया गया। कृषि विभाग द्वारा स्प्रिंकलर एवं मिनीकीट वितरण भी इस अवसर पर किया गया। इसके साथ ही श्रम विभाग की योजनाओं के हितग्राहियों को भी योजनाओं का लाभ दिया गया।























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