ब्रेकिंग न्यूज़

सर्पदंश की घटना होने पर झाड़-फूक में न करें समय नष्ट, शीघ्र पंहुचे अस्पताल

द न्यूज़ इंडिया समाचार सेवा
सूरजपुर : सूरजपुर जिला वनांचल क्षेत्र होने के कारण, बरसात का मौसम शुरू होते ही वातावरण में नमी और उमस बढने तथा वर्षा का पानी जब उनके बिलों में भर जाने के कारण अपने भोजन की तालाश में जहरीले कीट, सांप बिच्छु अपने व तथा सुरक्षित स्थान की तलाश में अक्सर बाहर आ जाते हैं तथा भोजन की खोज में घरों में घुस जाते हैं और लोगों को काटने का खतरा बढ़ जाता है। जिससे सर्पदंश की घटनाएँ बढ़ जाती हैं । सर्पदंश से अधिकांश व्यक्तियों की आकस्मिक मृत्यु हो जाती है। ज्यादातर ग्रामीण क्षेत्र में ग्रामीण सर्पदंश के मामले में चिकित्सा विज्ञान पर विश्वास नहीं रखते है तथा बैगा गुनिया से झाड-फूक कराते हैं एवं अंधविश्वास व अज्ञानता के कारण असमय कालकवलित हो जाते हैं।

झाड़-फूक से किसी भी सर्पदंश से पीड़ित व्यक्ति की जान नही बचाई जा सकती है। अंधविश्वास के कारण ग्रामीण संर्पदंश के मामलों में झाड-फूक में समय नष्ट कर मरणासन्न स्थिति में पीड़ितों को चिकित्सालय लाया जाता है, जिससे एैसे प्रकरणों में जीवन बचाने में चिकित्सक भी असफल रहते हैं।मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ कपिल देव पैकरा द्वारा बताया गया कि जिला चिकित्सालय में 340, समस्त सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र में 2221, समस्त प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र में 751 एंटी स्नेक वेनम इंजेक्शन उपलब्ध है।


 

Related Post

Leave A Comment

छत्तीसगढ़

Facebook